जमीन हस्तांतरित होते ही गंगा एप्रोच पथ का होगा निर्माण
मुंगेर में गंगा नदी पर बनने वाले रेल सह सड़क पुल के संपर्क पथ को लेकर 11 मौजे की जमीन अधिग्रहण का कार्य पूरा हो चुका है। इस सप्ताह अधिग्रहित जमीन एनएचएआई (नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया) को हस्तांतरित...
मुंगेर में गंगा नदी पर बनने वाले रेल सह सड़क पुल के संपर्क पथ को लेकर 11 मौजे की जमीन अधिग्रहण का कार्य पूरा हो चुका है। इस सप्ताह अधिग्रहित जमीन एनएचएआई (नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया) को हस्तांतरित कर दी जाएगी। जमीन हस्तांतरित होते ही पथ निर्माण का कार्य शुरू होने की संभावना है।
172 करोड़ की लगात से बनने वाले एप्रोच पथ के लिए जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया 2015 में ही शुरू हुई थी। इसे 2018 तक पूरा कर लेना था लेकिन लगातार व्यवधान के कारण अब तक मुंगेर की ओर से 11 मौजे की जमीन अधिग्रहण का कार्य ही पूरा हो पाया है। इन मौजे के 191 रैयतों के बीच 33 करोड़ मुआवजे की राशि बांटी जा चुकी है। लगभग नौ किलोमीटर बनने वाले इस एप्रोच पथ के लिए मुंगेर की ओर 34 मौजे की जमीन अधिग्रहण का कार्य पूरा करना है। इनमें सात मौजा टोपो लैंड व दो मौजा कृषि विभाग की जमीन अधिग्रहित की जानी है। सात मौजा टोपो लैंड की जमीन अधिग्रहण की फांस के कारण निर्माण कार्य में बाधा आने की आशंका है। टोपो लैंड की जमीन पर सरकार अपना स्वामित्व घोषित कर चुकी है जबकि उसपर वर्षों से कायम रैयत मुआवजे की मांग पर अड़े हुए हैं।
इन मौजों में अधिग्रहण का कार्य पूरा: बनौधा, गुलालपुर, लक्षमणपुर, कटरिया, सलेमपुर, नंदलालपुर, मय, चकमानसी, शीतलपुर, मीनाचक एवं मुजफ्फपुर कासिमपुर के जमीन अधिग्रहण की प्रकिया पूरी हो चुकी है।
सरकारी जमीन भी एनएचएआई को हस्तांतरित: एप्रोच पथ में आने वाली कृषी विभाग के दो मौजा की सरकारी जमीन भी एनएचएआई को हस्तांतरित की जा चुका है। निजी रैयतों की 14 मौजा की जमीन अधिग्रहण की प्रकिया में भी तेजी आ गई है। जमीन पैमाइश के लिए अमीनों की संख्या बढ़ाई गई है। एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर सूरज प्रकाश ने कहा कि जिला प्रशासन द्वारा जमीन का हस्तांतरण होते ही पथ निर्माण का कार्य प्रारंभ कर दिया जाएगा।
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