BJP नेता दिलीप घोष को चक्रवात प्रभावित इलाकों में जाने से रोका, तो जानें कैसे अम्फान के बाद आ गया सियासी तूफान
अम्फान चक्रवाती तूफान से पश्चिम बंगाल बुरी तरह प्रभावित हुआ है। पुलिस ने पश्चिम बंगाल भाजपा के अध्यक्ष दिलीप घोष को राज्य के चक्रवात प्रभावित दक्षिण 24 परगना जिले के कई इलाकों में जाने से रोक दिया...
अम्फान चक्रवाती तूफान से पश्चिम बंगाल बुरी तरह प्रभावित हुआ है। पुलिस ने पश्चिम बंगाल भाजपा के अध्यक्ष दिलीप घोष को राज्य के चक्रवात प्रभावित दक्षिण 24 परगना जिले के कई इलाकों में जाने से रोक दिया जिसके बाद भाजपा और राज्य की सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के बीच वाकयुद्ध शुरू हो गया। दिलीप घोष चक्रवात अम्फान प्रभावित इलाकों में शामिल कैनिंग और बासंती में राहत सामग्री ले कर जा रहे थे, तभी जिले के गराई इलाके के धलाई पुल के पास पुलिस ने उन्हें रोक दिया।
घोष ने बताया, 'मुझे नहीं पता कि क्यों मुझे चक्रवात प्रभावित इलाकों में जाने से रोका गया। तृणमूल के नेता उन स्थानों पर जा रहे हैं और राहत सामग्री बांट रहे हैं। पुलिस उन्हें नहीं रोक रही है। नियम केवल भाजपा नेताओं के लिए बदलते हैं। घोष ने कहा कि यदि उन्हें प्रभावित इलाकों में जाने की इजाजत नहीं दी गई तो वह धरने पर बैठ जाएंगे।
उन्होंने कहा, 'अगर राज्य सरकार राहत पर राजनीति करना चाहती है तो उन्हें हमारे कार्यकर्ताओं से इसके जवाब के लिए भी तैयार रहना चाहिए।' इससे पहले घोष और पार्टी के कार्यकर्ताओं की पुलिसकर्मियों के साथ झड़प हुई और कार्यकर्ताओं ने घोष की गाड़ी को जाने देने के लिए पुलिसकर्मियों को धक्का दिया।
पुलिस ने हालांकि इस संबंध में कुछ भी कहने से इनकार किया। कोलकाता के महापौर और राज्य के मंत्री फिरहाद हकीम ने कहा कि भाजपा राहत सामग्री को बांटने में भी राजनीति करने पर तुली हुई है। दरअसल, बुधवार रात पश्चिम बंगाल के कई जिलों में चक्रवात अम्फान के गुजरने के बाद लाखों लोग बेघर हो गए जहां हजारों पेड़ उखड़ गए, झोपड़ियां उजड़ गईं और निचले इलाके डूब गए। राज्य के कुछ हिस्सों में, कई घर मलबे में तब्दील हो गए और खेत जलमग्न हो गए।