Ram Navami 2025: रामनवमी के दिन क्या करना चाहिए क्या नहीं?
हिंदू धर्म ग्रंथों के अनुसार, भगवान रामचंद्र जी का जन्म चैत्र मास के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि को हुआ था। इसलिए इस दिन को रामनवमी के पर्व के तौर पर मनाया जाता है।
रामनवमी
रामनवमी पर्व पर व्रत और पूजा करने का बहुत ज्यादा फलदायी माना जाता है। आज हम आपको बताएंगे कि रामनवमी के दिन क्या करना चाहिए और क्या नहीं?
रामनवमी पर क्या करें क्या नहीं?
रामनवमी के दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठकर स्नान ध्यान के बाद सूर्य देवता को तांबे के लोटे से अर्घ्य देना चाहिए।
क्या करें?
सूर्य देव को अर्घ्य देने के बाद श्रीरामचरितमानस की पूजा भी करें। इसके बाद श्री राम की पूजा में पीले वस्त्र, पीले पुष्प, और पीला चंदन अर्पित करें।
श्रीरामचरितमानस की पूजा
भगवान रामचंद्र जी को भोग के साथ तुलसी दल अवश्य चढ़ाएं। इस दिन स्नान-दान का भी महत्व है। ऐसे में रामनवमी के दिन अपने सामर्थ्य के अनुसार जरूरतमंदों को दान दें।
जरूरतमंदों को दान
रामनवमी के दिन भूलकर भी किसी को अपमानजनक अपशब्द ना बोलें और ना ही किसी की निंदा करें।
अपमान ना करें
रामनवमी पर कन्या पूजन का विधान है। ऐसे में इस ना तो किसी कन्या को सताएं और ना ही मारें। अगर आप ऐसा करते हैं, तो आपको भगवान श्री राम के क्रोध का भागीदार बनना पड़ेगा।
कन्या को ना सताएं
रामनवमी के दिन तामसिक भोजन (प्याज, लहसुन, मांस, मदिरा) का सेवन गलती से भी नहीं करना चाहिए।
तामसिक भोजन से बचें
रामनवमी के दिन भगवान राम की पूजा के समय बासी और मुरझाए फूल और फल का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए।
पूजा में बासी फूल ना चढ़ाएं
यह जानकारी सिर्फ मान्याताओं, धर्मग्रंथों और विभिन्न माध्यमों पर आधारित है। किसी भी जानकारी को मानने से पहले विशेषज्ञ से सलाह लें।
नोट
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