Hindi Newsउत्तराखंड न्यूज़Video of journalist Rajiv Pratap before his death, know what is in it
पत्रकार राजीव प्रताप के उस वीडियो में क्या है, जिसे परिवार मान रहा मौत की वजह

पत्रकार राजीव प्रताप के उस वीडियो में क्या है, जिसे परिवार मान रहा मौत की वजह

संक्षेप: राजीव ने 11 दिन पहले अपने यूट्यूब चैनल पर उत्तराखंड के एक सरकारी अस्पताल में बदहाली की स्थिति को दिखाया था। पत्नी का आरोप है कि इस वीडियो के वायरल होने के बाद उन्हें जान से मारने की धमकियां मिल रहीं थीं, जिसे लेकर राजीव काफी परेशान चल रहे थे।

Sun, 28 Sep 2025 08:07 PMRatan Gupta लाइव हिन्दुस्तान, उत्तरकाशी
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उत्तरकाशी के स्वतंत्र पत्रकार राजीव प्रताप सिंह की 10वें दिन लाश बरामद हो गई है। पत्नी सहित परिवार का आरोप है कि भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने के चलते उन्हें धमकियां मिल रही थीं। राजीव ने 11 दिन पहले अपने यूट्यूब चैनल पर उत्तराखंड के एक सरकारी अस्पताल में बदहाली की स्थिति को दिखाया था। पत्नी का आरोप है कि इस वीडियो के वायरल होने के बाद उन्हें जान से मारने की धमकियां मिल रहीं थीं, जिसे लेकर राजीव काफी परेशान चल रहे थे।

राजीव प्रताप ने 'दिल्ली-उत्तराखंड लाइव' नामक यूट्यूब चैनल पर 'उत्तरकाशी के हॉस्पिटल की ये बदहाली क्यों' नाम से एक वीडियो पोस्ट किया था, जिसमें अस्पताल में मौजूद कई तरह की समस्याओं को उठाया था। माना जा रहा है कि इसी वीडियो को जारी करने के बाद उन्हें धमकियां मिल रहीं थी। ये वीडियो 11 दिन पहले अपलोड किया गया था और इसके अगले दिन राजीव लापता हो गए और आज 10वें दिन उनकी लाश बरामद हुई है।

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सात मिनट के इस वीडियो में राजीव ने अस्पताल में कर्मचारियों द्वारा शराब का सेवन करने और मरीजों की जान से खिलवाड़ करने का आरोप लगाया था। राजीव ने वीडियो में डिस्ट्रिक हॉस्पिटल उत्तरकाशी के ट्रामा सेंटर की छत पर शराब की बोतलें पड़ी हुई दिखाईं। राजीव ने आरोप लगाया, "यहां के डॉक्टर्स से क्या बोलूं, लेकिन यहां के सीएमएस, सीएमओ कभी राउंड पर नहीं आते। यहां शराब और बियर की बोतलें पड़ी हुई हैं।"

शराब की बोतलें दिखाते हुए कहा- "ये देखिए हमारे पास जो सूचना थी कि कर्मचारी यहां शराब का सेवन करते हैं और छत के ऊपर महफिल सजाकर बैठे रहते हैं। नीचे पेशेंट वॉर्ड बॉय और कर्मचारी का इंतजार करते रहते हैं।" वीडियो में आगे कहते हैं- “आप ये सब सौ बार दिखा लीजिए, लेकिन कोई फर्क नहीं पड़ेगा। यहां के जनप्रतिनिधि और अफसर इतने बेशर्म हो गए हैं कि इनको कोई फर्क नहीं पड़ता है।”

सीढ़ियों पर मौजूद कुत्ते की वजह से एक महिला ऊपर नहीं जा पा रही थी। कुत्ते की वीडियो दिखाते हुए तंज भरे अंदाज में राजीव प्रताप ने कहा- “भाई साहब आप यहां क्यों आए हैं, यहां इंसानों का इलाज हो जाए वही बहुत बड़ी बात है।” अस्पताल में फैली गंदगी को दिखाते हुए कहा- "मैं इस अस्पताल में क्या आपको अच्छा दिखा दूं? यहां हर तरफ गंदगी है, लेकिन मैं कोशिश करूंगा कि कुछ अच्छा दिखा दूं। गंदगी का अंबार लगा हुआ है। हॉस्पिटल तो मदिरालय बन गया है। "

आपको बताते चलें कि 18 सितंबर की रात करीब 11 बजे, गंगोत्री क्षेत्र में राजीव अपनी कार से लौट रहे थे। उनका साथी रास्ते में ही उतर गया था। अगली सुबह, भागीरथी नदी के किनारे उनकी कार मिली, लेकिन राजीव की कोई सूराग नहीं मिला। इसके बाद परिवार ने उत्तरकाशी के थाने में उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। आज 10वें दिन 28 सितंबर को उनकी लाश बरामद हुई है।

Ratan Gupta

लेखक के बारे में

Ratan Gupta
IIMC दिल्ली से हिन्दी पत्रकारिता की पढ़ाई करने के बाद लाइव हिन्दुस्तान में बतौर कंटेट प्रोड्यूसर हैं। खबरों की दुनिया के अलावा साहित्य पढ़ना, फिल्में देखना और गाने सुनना पसंद है। और पढ़ें

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