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पुलिस का एक्शन मोड, हत्या, अपहरण, रंगदारी आदि जघन्य अपराधों में लिप्त हिस्ट्रीशीटरों व गुर्गों की निगरानी शुरू

देहरादून पुलिस हत्या, अपहरण, रंगदारी समेत अन्य अपराध में लिप्त हिस्ट्रीशीटरों और उनके गुर्गों पर कड़ी कार्रवाई के मूड में है। कानपुर की घटना के बाद देहरादून के 246 हिस्ट्रीशीटरों की निगरानी शुरू कर दी...

पुलिस का एक्शन मोड, हत्या, अपहरण, रंगदारी आदि जघन्य अपराधों में लिप्त हिस्ट्रीशीटरों व गुर्गों की निगरानी शुरू
हिन्दुस्तान टीम, देहरादूनFri, 10 Jul 2020 01:27 PM
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देहरादून पुलिस हत्या, अपहरण, रंगदारी समेत अन्य अपराध में लिप्त हिस्ट्रीशीटरों और उनके गुर्गों पर कड़ी कार्रवाई के मूड में है। कानपुर की घटना के बाद देहरादून के 246 हिस्ट्रीशीटरों की निगरानी शुरू कर दी गई है।

डीआईजी अरुण मोहन जोशी ने जेल में बंद कुख्यातों का नेटवर्क तोड़ने की भी बात कही है। यूपी के कानपुर में हिस्ट्रीशीटर को पकड़ने के दौरान आठ पुलिसवालों की हत्या की घटना के बाद दून पुलिस भी अलर्ट मोड में है।

पुलिस कुख्यातों के गिरोह के संपर्क में रहने वाले अपराधियों और उनके गुर्गों का पता लगाने में जुटी है। डीआईजी अरुण मोहन जोशी ने जिले के 21 थाना-कोतवाली में सक्रिय अपराधियों और 246 हिस्ट्रीशीटरों के बारे में रिपोर्ट मांगी है।

डीआईजी ने निर्देशित किया है कि थाना प्रभारी हिस्ट्रीशीटरों की गतिविधियों पर नजर रखने के साथ ही उनकी वर्तमान स्थिति के बारे में विस्तृत रिपोर्ट तैयार कर बताएं।

थाना प्रभारी यह भी देखेंगे कि हिस्ट्रीशीटर आपराधिक गतिविधियों में लिप्त तो नहीं। साथ ही पता करें कि वह वर्तमान में क्या कर रहे हैं।

डीआईजी ने सभी थाना प्रभारियों को उनके क्षेत्र के टॉप टेन बदमाशों की सूची मुहैया कराने और जेल में बंद अपराधियों से मिलने वालों पर भी नजर रखने के निर्देश दिए।


1977 में खुली हिस्ट्रीशीट
देहरादून। पुलिस के आंकड़ों के अनुसार कई अपराधियों की हिस्ट्रीशीट 1977 में खुली है, जबकि कुछ की 1987, 1988 में भी खुली हैं। इन लोगों का सत्यापन करने के लिए भी निर्देशित किया है।
32 हिस्ट्रीशीटरों की तलाश को टीमें गठित

 

32 हिस्ट्रीशीटरों की तलाश को टीमें गठित
देहरादून। राजधानी में 32 हिस्ट्रीशीटर लापता हैं। इन पर पुलिस ने इनाम भी घोषित किया है। इन पर हत्या, हत्या का प्रयास, आर्म्स ऐक्ट, धमकी देने, शराब तस्करी आदि धाराओं में मुकदमे दर्ज हैं।

इन लोगों को पुलिस ने विभिन्न मामलों में गिरफ्तार किया है, लेकिन जमानत के बाद से उक्त हिस्ट्रीशीटर फरार हैं। डीआईजी ने टीमें गठित कर सभी लापता हिस्ट्रीशीटरों का पता लगाने और यूपी, दिल्ली, हरियाणा पुलिस से संपर्क को निर्देशित किया है।  


 

जेल में बंद कुख्यातों और बदमाशों का नेटवर्क पूरी तरह ध्वस्त करेंगे। राजधानी का रुख करने वाले बदमाशों से पुलिस सख्ती से निपटेगी। एसओजी और पुलिस टीमें बदमाशों के संपर्क में रहने वाले गुर्गों की सूची तैयार कर रही है। ऐसे लोगों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। हस्ट्रीशीटरों का सत्यापन किया जा रहा है और वांछित लोगों की तलाश में पुलिस टीमें यूपी समेत अन्य स्थानों पर दबिश दे रही हैं।         
अरुण मोहन जोशी, डीआईजी  

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