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राज्य के अंतिम गांव और आखिरी व्यक्ति तक पहुंचे विकास: सीएम रावत

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत ने विकास योजनाओं की पड़ताल के लिये जिला स्तरीय अधिकारियों के साथ ही ब्लाक स्तरीय अधिकारियों से भी रूबरू हुए। मुख्यमंत्री ने विकास कार्यों का फीड बैक लिया और संचालित...

राज्य के अंतिम गांव और आखिरी व्यक्ति तक पहुंचे विकास: सीएम रावत
लाइव हिन्दुस्तान टीम,गोपेश्वर Mon, 15 Oct 2018 01:56 PM
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मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत ने विकास योजनाओं की पड़ताल के लिये जिला स्तरीय अधिकारियों के साथ ही ब्लाक स्तरीय अधिकारियों से भी रूबरू हुए। मुख्यमंत्री ने विकास कार्यों का फीड बैक लिया और संचालित योजनाओं को अंतिम गांव और आखिरी व्यक्ति तक पहुंचाने के निर्देश दिये। चमोली जिले के मुख्यालय गोपेश्वर में मुख्यमंत्री ने अपने निर्धारित कार्यक्रम हर जिले में एक दिन रहकर विकास योजनाओं की धरातलीय समीक्षा के तहत समीक्षा बैठक की।

यह बैठक शनिवार को देर रात्रि तक लगभग चार घंटे चली। शनिवार को मुख्यमंत्री ने ब्लाक स्तर के अधिकारियों से पूछा कि योजनाओं का धरातलीय  कार्य और फीड बैक क्या है? बैठक में जिला स्तरीय अधिकारी भी थे। अपने साथ लायी आंकड़ों की फाइल और हकीकत में कुछ गड़बड़ न हो जाय  इसके लिये वे चौकस दिखे। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत ने कहा विकास योजनाओं को समय से शुरू करते हुए निर्धारित समय पूरा करना सुनिश्चित किया जाय। ताकि लोगों को समय से योजनाओं का लाभ मिल सके। सीएम ने कहा कि राज्य में पहली बार आयोजित इन्वेस्टर्स समिट में दूरस्थ क्षेत्रों के विकास के लिए निवेशकों ने भारी संख्या में अपने निवेश प्रस्ताव राज्य सरकार को दिये है। कृषि व उद्यान पर फोकस करते हुए उन्होंने कहा कि इन क्षेत्रों में प्रत्येक वर्ष कुछ न कुछ निवेश करने से आने वाले समय में इसका लाभ मिलेगा। उन्होंने बैठक में कहा स्वास्थ्य विभाग में 108 वाहनों की समस्या का निराकरण शीघ्र होगा।

पॉलीटेक्निक शिक्षण संस्थाओं में स्टॉल की कमी के कारण छात्रों को गुणवत्ता परक शिक्षा न मिलने पर चिन्ता व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री ने जनपद में संचालित पॉलीटेक्निक शिक्षण संस्थाओं को मर्ज करने पर विचार करने को कहा। दैवीय आपदा के दौरान क्षतिग्रस्त लौहाजंग-वाण मोटर मार्ग से काश्तकारों की नकदी फसल को हो रहे नुकसान को देखते हुए मुख्यमंत्री ने बाधित मोटर मार्ग को सुचारू करने के लिए शीघ्र अस्थाई व्यवस्था कराने के निर्देश लोनिवि को दिये। जिले में कई सड़कें आरटीओ से पास न होने के कारण सड़क दुर्घटना की स्थिति में मुआवजा न मिलने की शिकायत पर मुख्यमंत्री ने आरटीओ व सड़क निर्माणदायी संस्थाओं को निर्देश दिये। बैठक में कर्णप्रयाग विधायक सुरेन्द्र सिंह नेगी, थराली विधायक मुन्नी देवी शाह, भाजपा जिला अध्यक्ष मोहन प्रसाद थपलियाल, डीएम स्वाति एस भदौरिया, सीडीओ हसांदत्त पांडे, एडीएम एमएस बर्निया आदि अधिकारी मौजूद थे। 

सीएम त्रिवेंद्र रावत ने किए बदरीनाथ के दर्शन 
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत ने भगवान बदरी विशाल के दर्शन किये और राज्य की खुशहाली के लिये भगवान से प्रार्थना की। मुख्यमंत्री रविवार को गोपेश्वर से हेलीकॉप्टर से सुबह 8.35 बजे बदरीनाथ पहुंचे । रविवार को बदरीनाथ के दर्शन करने के लिए पहुंचे । मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति के अधिकारियों से यात्रा व्यवस्था की जानकारी ली और जरूरी निर्देश भी दिए।  समिति के सीईओ , बीडी सिंह ने बदरीनाथ और केदारनाथ में आये अब तक रिकॉर्ड संख्या में पहुंचे यात्रियों की जानकारी दी । जिस पर मुख्यमंत्री ने संतोष व्यक्त किया। मुख्यमंत्री त्री के साथ गोपेश्वर से पार्टी के जिला अध्यक्ष मोहन प्रसाद थपलियाल भी बदरीनाथ के दर्शन के लिये पहुंचे । 

यूकेडी ने सीएम के दौरे को बताया निराशाजनक
गोपेश्वर। उत्तराखंड क्रांति दल ने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के चमोली जिले के दौरे को निराशाजनक बताया। कहा कि जनपद चमोली आपदा की मार झेल रहा है। सीएम के दौरे से आशा लगी थी कि उनके आने से जनपदवासियों को कोई लाभ मिलेगा लेकिन ऐसा कुछ हुआ नहीं। रविवार को एक प्रेस बयान जारी करते हुए उक्रांद के केंद्रीय महामंत्री सत्यप्रकाश सती ने कहा कि चमोली के आपदा प्रभावित आज भी दर-दर भटक रहे है लेकिन उनकी सुध लेने वाला कोई नहीं है। कहा कि सीएम के आने से एक मात्र लाभ ये हुआ कि जिला मुख्यालय की अंदरूनी सड़क में जो गड्ढे बने थे वे भर दिए गये बाकि से ना तो जनता की कोई समस्या का समाधान हुआ और ना ही जिले के स्वास्थ्य, शिक्षा, सडक, पेयजल पर कोई घोषणा नहीं हुई। 

जनता ने मुख्यमंत्री को सौंपे मांगपत्र 
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र रावत के गोपेश्वर प्रवास के दौरान जनता और जन प्रतिनिधियों ने उन्हें विभन्नि समस्याओं के पुलिदें सौंपे। मुख्यमंत्री ने मौके पर लोगों को उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया। अब सबकी निगाह इस बात पर रहेगी कि उनकी मांगों पर क्या कार्रवाई हुई। दशोली के पूर्व प्रमुख भगत सिंह बष्टि ने  मंडल में स्थित जड़ी बूटी संस्थान को मूल और वृहद स्वरूप में बनाये रखने की मांग की। समानता मंच ने उत्तराखंड  में एसटी-एससी कानून लागू न करने की अपील की। जबकि नन्दाकिनी संघर्ष समिति ने पुरानी पेंशन व्यवस्था  लागू करने की मांग का ज्ञापन दिया गया। युवा मोर्चा के नवल भट्ट ने नगर विकास प्राधिकरण  द्वारा फाईल को सक्रिय करने की मांग की। युवा कल्याण विभाग में प्रशीक्षित विधवा, परत्यिक्ता, असहाय महिलाओं ने विभाग में नियुक्ति को बरकरार रखने की मांग की। कालेजों, स्कूलों में शक्षिकों की तैनाती की मांग सीएम से की।

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