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All Weather Road बनेगी पहाड़ की Life Line

उत्तराखंड में चारधाम को जोड़ने के लिए बनाई जा रही ऑल वेदर रोड़ परियोजना पहाड़ की लाइफ लाइन बनने जा रही है। इस परियोजना का काम पूरा हो जाने के बाद न केवल चारधाम यात्रा सुगम होगी बल्कि इससे पहाड़ के गांवों...

All Weather Road बनेगी पहाड़ की Life Line
लाइव हिन्दुस्तान टीम, देहरादूनMon, 27 Jan 2020 04:34 PM
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उत्तराखंड में चारधाम को जोड़ने के लिए बनाई जा रही ऑल वेदर रोड़ परियोजना पहाड़ की लाइफ लाइन बनने जा रही है। इस परियोजना का काम पूरा हो जाने के बाद न केवल चारधाम यात्रा सुगम होगी बल्कि इससे पहाड़ के गांवों तक पहुंच आसान होगी और पर्यटन गतिविधियों को भी बढ़ावा मिलेगा। चारधाम की सड़कों को बारहमास सफर के लायक बनाने के लिए केंद्र सरकार ने उत्तराखंड में ऑल वेदर रोड परियोजना बनाने का निर्णय लिया। 27 दिसम्बर 2016 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देहरादून के परेड ग्राउंड में इस परियोजना का उदघाटन किया था। ऑल वेदर रोड़ परियोजना  के तहत अभी तक 644 किमी सड़कों के निर्माण का काम चल रहा है। जबकि अन्य क्षेत्रों में भूमि अधिग्रहण, वन भूमि हस्तांतरण और मुआवजा वितरण की प्रक्रिया चल रही है। ऑल वेदर रोड परियोजना के तहत वर्तमान में बन रही 644 किमी सड़क में से 407 किमी सड़क को चौड़ा कर दिया गया है। जबकि इसके तकरीबन आधे हिस्से को पूरी तरह तैयार किया जा चुका है। 
ऑल वेदर रोड को पहाड़ का जन मानस एक उम्मीद भरी नजर से देख रहा है। लोगों को उम्मीद है कि इस परियोजना के बन जाने के बाद तीर्थाटन और पर्यटन में इजाफा होगा और इससे पहाड़ के लोगों की आर्थिकी भी बदलेगी।  पहाड़ में पर्यटन के क्षेत्र में अपार संभावनाएं हैं और इसमें पलायन की समस्या का समाधान भी छिपा हुआ है। ऐसे में ऑल वेदर रोड पहाड़ की तकदीर बदल सकती है।

 

भूस्खलन से नहीं थमेगी रफ्तार
बारिश के मौसम में भूस्खलन से आमतौर पर पहाड़ की रफ्तार थम जाती है। सड़कों के बंद हो जाने के बाद लोगों के लिए सफर बेहद मुश्किल हो जाता है। इसी को देखते हुए ऑल वेदर रोड परियोजना में भूस्खलन संभावित स्थानों पर जियो सिंथेटिक तकनीकी से पहाड़यिों का उपचार किया जा रहा है।पहाड़यिों का जियो सिंथेटिक उपचार होने से चारधाम की सड़कों के बंद होने की समस्या खत्म होगी और लोग मुश्किल समय में भी आराम से सफर कर सकेंगे। ऑल वेदर रोड परियोजना के तहत ऐसे स्थानों का चयन किया गया है जहां बार बार भूस्खलन की वजह से रोड बंद होती है। ऑल वेदर रोड परियोजना के तहत ऐसे स्थानों और पहाडियों का उपचार कर इस समस्या को जड़ से खत्म करने का लक्ष्य रखा गया है। इसके तहत तोता घाटी, साकिनीधार और ताछिलीधार जैसे स्थानों पर पहाड़यिों को ठीक किया जा रहा है। इसके अलावा भूस्खलन संभावित स्थानों पर सड़कों की चौड़ाई भी बढ़ाई जा रही है ताकि मलबा आने की सूरत में भी सड़के वाहनों के निकलने लायक बनी रहे।

 

यमुनोत्री टनल से होकर पहुंचेंगे यात्री
ऑल वेदर रोड परियोजना के तहत उत्तरकाशी जिले में यमुनोत्री राजमार्ग पर सिलक्यारा के समीप साढ़े चार किमी लम्बी टनल पर काम शुरू हो गया है। 1383.78 करोड़ की लागत में तैयार होने वाली यह टनल देश की चुनिंदा सुरंग परियोजनाओं में शामिल है। इस टनल के निर्माण से यमुनोत्री की दूरी 21 किलोमीटर घट जाएगी और यात्री एक घंटा कम समय में ही यमुनोत्री धाम के दर्शन कर पाएंगे। टनल बन जाने के बाद  जिला मुख्यालय उत्तरकाशी से बड़कोट की दूरी भी 26 किमी कम होगी। सुरंग की कुल लम्बाई 4.531 किलोमीटर होगी और यह डबल लेन टनल बनाई जा रही है। सिल्कयारा से बडकोट तक बनने वाली इस टनल के बाद लोगों को रॉडी टॉप नहीं जाना पड़ेगा। इस टनल के निर्माण से न केवल चारधाम यात्रियों को फायदा होगा बल्कि गंगा और यमुना घाटी आपस में जुड़ जाएंगे और इससे स्थानीय किसानों और व्यापारियों को भी फायदा होगा। टनल का निर्माण एनएचआई डीसीएल कर रही है चार साल में इसका निर्माण पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। चार साल तक टनल की मरम्मत का काम भी एनएचआईडीसीएल देखेगी। इसके अलावा गंगोत्री और यमुनोत्री जाने वाले यात्रियों के लिए चम्बा में लगने वाले जाम से भी निजात दिलाई जा रही है। इसके लिए चम्बा में भी छह किमी लम्बी टनल बनाई जा रही है। इस टनल के बन जाने के बाद यात्रियों को जाम से राहत मिलेगी और स्थानीय लोगों को भी परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ेगा।


 

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