पौने दस लाख वाहनों का दबाव कैसे झेलेंगे 19 प्रदूषण जांच केंद्र
एक सितंबर से नया मोटर वाहन अधिनियम लागू होने के बाद सभी तरह के वाहनों के लिए प्रदूषण प्रमाण पत्र लेना जरूरी होगा। प्रदूषण जांच केन्द्रों की सीमित संख्या को देखते हुए यहां लम्बी कतारें लग सकती हैं।...
एक सितंबर से नया मोटर वाहन अधिनियम लागू होने के बाद सभी तरह के वाहनों के लिए प्रदूषण प्रमाण पत्र लेना जरूरी होगा। प्रदूषण जांच केन्द्रों की सीमित संख्या को देखते हुए यहां लम्बी कतारें लग सकती हैं। वाहनों के प्रदूषण जांच के लिए के लिए आरटीओ ने 19 सेंटरों को ही मान्यता दी है। दून में वाहनों की संख्या तेजी से बढ़ रही है। आरटीओ के आंकड़ों के अनुसार हर साल करीब पचास हजार वाहन आरटीओ में पंजीकृत किए जाते हैं। 1 जुलाई 2019 तक 9 लाख 77 हजार 540 वाहन पंजीकृत हो चुके हैं। लेकिन इन वाहनों को प्रदूषण प्रमाण पत्र देने के लिए दून में सिर्फ 19 ही सेंटर हैं। एक सितंबर से सड़क पर चलने के मानक पहले से अधिक कड़े हो जाएंगे। ऐसे में दिक्कत बढ़ना तय है।
मौजूदा प्रदूषण जांच केंद्र के हिसाब से वाहनों की संख्या बहुत अधिक है। हम इनकी संख्या बढ़ाने पर गंभीरता से विचार कर रहे हैं। कोई भी व्यक्ति इसके लिए हमारे यहां आवेदन दे सकता है।
सुनीता सिंह, अपर आयुक्त परिवहन
वाहनों का डाटा
कुल वाहन 9,77,540
मल्टी एक्सल वाहन 24,172
बसें 5,412
एम्बुलेंस 898
टैक्सी मैक्सी 16,525
थ्री व्हीलर 5,649
ई रिक्शा 2,268
दुपहिया 6,94,402
कार, जीप 2,17,804
ओमनी बस 2,180
ट्रैक्टर 6,257
ट्राली 1,210
अन्य वाहन 763
पॉल्यूशन प्वाइंट 19
दुपहिया वाहनों के लिए भी जरूरी
वर्तमान में बिना प्रदूषण प्रमाण पत्र पर कार के लिए एक हजार रुपये जुर्माने का प्रावधान है। एक सितंबर से यह दस हजार रुपये हो जाएगा। वहीं अब तक दुपहिया वाहनों के लिए प्रदूषण प्रमाण पत्र जरूरी नहीं था, लेकिन अब बिना प्रदूषण प्रमाण पत्र पकड़े जाने पर पांच सौ रुपये जुर्माना होगा।