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सिविल अस्पताल में दूसरे दिन भी नहीं हुए अल्ट्रासाउंड

सरकारी अस्पतालों के विशेषज्ञ डॉक्टरों की हड़ताल का असर सिविल अस्पताल में दूसरे दिन भी देखने को मिला। सिविल अस्पताल के अल्ट्रासाउंड केंद्र पर मंगलवार को भी ताला लटका रहा। जबकि हड़ताली डॉक्टर ने साधारण...

सिविल अस्पताल में दूसरे दिन भी नहीं हुए अल्ट्रासाउंड
हिन्दुस्तान टीम,रुडकीTue, 11 Sep 2018 05:25 PM
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सरकारी अस्पतालों के विशेषज्ञ डॉक्टरों की हड़ताल का असर सिविल अस्पताल में दूसरे दिन भी देखने को मिला। सिविल अस्पताल के अल्ट्रासाउंड केंद्र पर मंगलवार को भी ताला लटका रहा। जबकि हड़ताली डॉक्टर ने साधारण रोगियों का इलाज किया।राज्य के विशेषज्ञ डॉक्टर एमसीआई द्वारा डिप्लोमा अमान्य करने से नाराज विशेषज्ञ डॉक्टरों ने प्रांतीय चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सेवा संघ के ऐलान के बाद हड़ताल की थी। मंगलवार को दूसरे दिन भी हड़ताल जारी रही। जिसका असर मंगलवार को रुड़की के सिविल अस्पताल में भी देखने को मिला। मंगलवार को भी सिविल अस्पताल में एक भी अल्ट्रासाउंड नहीं हुए। जबकि सिविल अस्पताल में रोजाना 35 से 40 अल्ट्रासाउंड प्रतिदिन होते हैं। जिसके चलते अस्पताल में पहुंची गर्भवती महिलाओं को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। जबकि सोमवार की तुलना में कम मरीज ही अल्ट्रा साउंड कराने अस्पताल पहुंचे। मंगलौर से पहुंचे संदीप काफी देर तक अल्ट्रासाउंड केंद्र के खुलने का इंतजार करते रहे, लेकिन बाद में निराश होकर वापस लौटना पड़ा। सलेमपुर से आयी महिला भी अपने छोटे बेटे का अल्ट्रासाउंड कराने पहुंची थी। लेकिन अल्ट्रासाउंड न होने पर बैरंग ही वापस लौट गई। सोमवार की तुलना में मंगलवार को वापस जाने वाले मरीजों की संख्या कम थी। लेकिन फिर भी मरीजों और उनके तीमारदारों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा। स्वास्थ्य सेवा संघ के ऐलान के बाद डॉ. मनीष खेतान, डॉ. मनीष दत्त, डॉ. आरके मिश्रा, डॉ. ऋतु खेतान आदि विशेषज्ञ डॉक्टर ने सामान्य मरीजों को ही देखते हुए अपने विशेषज्ञता डिप्लोमा से जुड़े कार्यों से परहेज किया।क्या कहते हैं अधिकारीमंगलवार को हमारी हड़ताल जारी रही। संघ के पदाधिकारियों एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के बीच वार्ता चल रही है। वार्ता के बाद ही आगे का निर्णय लिया जाएगा।डॉ. शशिकांत, जिलाध्यक्ष प्रांतीय चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सेवा संघ

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