ऑडियो से हुआ खुलासा: परिवहन विभाग और ट्रैफिक पुलिस के नाम पर दलाल लेते हैं पैसे
हरिद्वार पुलिस के हाथ एक आडियो लगी है, जिसमें लंढौरा से ऋषिकेश तक ईंटों से भरे ट्रक को ले जाने के लिए 5500 रुपये की रिश्वत मांगी गई है। यह रिश्वत और कोई नहीं बल्कि रुड़की का एक दलाल मांग रहा है। इस...
हरिद्वार पुलिस के हाथ एक आडियो लगी है, जिसमें लंढौरा से ऋषिकेश तक ईंटों से भरे ट्रक को ले जाने के लिए 5500 रुपये की रिश्वत मांगी गई है। यह रिश्वत और कोई नहीं बल्कि रुड़की का एक दलाल मांग रहा है। इस रिश्वत के पैसे परिवहन विभाग और ट्रैफिक पुलिस तक पहुंचाए जाते हैं। आडियो एसएसपी के हाथ लगने के बाद मामले की जांच के आदेश दे दिए गए हैं। यदि किसी को ओवरलोड निर्माण सामग्री से भरे वाहन या फिर बिना कागजात के वाहन ले जाना है तो इसके लिए परिवहन विभाग और ट्रैफिक पुलिस ने अपने रेट तय किए हुए हैं। इसके लिए बकायदा दलाल भी छोड़े गए हैं। दलाल ठेकेदारों से रेट तय करते हैं और उसके बाद पूरी सेटिंग से वाहनों को भेजा जाता है। रिश्वत के पैसे मिलने के बाद बकायदा एक कार्ड जारी किया जाता है। इस कार्ड को सभी बैरियर पर दिखाने के बाद कोई भी कार्रवाई नहीं होती और वाहन अपनी मंजिल तक पहुंच जाता है। इस भ्रष्टाचार का खुलासा एसएसपी को मिले एक आडियो टेप में हुआ है। एक टेप में एक दलाल एक ठेकेदार से बात करता हुआ सुनाई दे रहा है। आडियो मिलने के बाद एसएसपी कृष्ण कुमार वीके ने मामले की जांच बैठा दी है। एसएसपी ने बताया कि मामला गंभीर है। जांच में दोषी पाने वाले के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
एसएसपी के हाथ लगा कार्ड
पैसे का भुगतान करने वालों की लिस्ट बनाई जाती है और लिस्ट परिवहन विभाग और यातायात पुलिस के पास पहुंचा दी जाती है। लिस्ट में जिसका नाम नहीं होता है उसके वाहन को रोका जाता है। इसके अलावा रिश्वत देने वाले वाहनों के चालक को कोर्ड दिया जाता है। इस कार्ड के हस्ताक्षर भी किए जाते हैं। बताया जा रहा है एक कार्ड एसएसपी के हाथ लग गया है। एक दारोगा ने एक कार्ड एसएसपी तक पहुंचाया है। यह भी बताया जा रहा है कि दलाल से दारोगा के कहने पर ही ठेकेदार ने फोन पर बात कर रिकार्डिंग की है।
क्या है आडियो में
आडियो में एक ठेकेदार दलाल से लंढौरा से ऋषिकेश तक अपने ईंटों से भरा ट्रक ले जाने की डील करता सुनाई दे रहा है। ठेकेदार ने लंढौरा से ऋषिकेश तक का रेट पूछा तो दलाल ने 5500 रुपये बताया। ये 5500 रुपये एआरटीओ से लेकर, टीआई तक के नाम पर लिए जाते हैं। इसके अलावा एक हजार रुपये सीओ ट्रैफिक के लिए अलग से मांगे जा रहे हैं।
यात्रा ड्यूटी पर किया संबंद्ध
आडियो मिलने के बाद सीओ ट्रैफिक वीरेंद्र डबराल को हरिद्वार से यात्रा ड्यूटी में संबंद्ध कर दिया गया है। हालांकि 15 दिनों के लिए यात्रा ड्यूटी पर अटैच किया गया है। आडियो मिलने के बाद सीओ ट्रैफिक पर कार्रवाई की तलवार लटकती हुई दिखाई दे रही है।