बागेश्वर में कुमालदेव के ग्रामीणों का प्रदर्शन
ग्राम पंचायत कुमालदेव के ग्रामीणों ने खड़िया खनन से कृषि भूमि को हुए नुकसान का मुआवजा नहीं मिलने पर डीएम कार्यालय के समीप प्रदर्शन किया।इस दौरान उन्होंने अवैध खनन की जांच कर खेतों का समतलीकरण कराने की...
ग्राम पंचायत कुमालदेव के ग्रामीणों ने खड़िया खनन से कृषि भूमि को हुए नुकसान का मुआवजा नहीं मिलने पर डीएम कार्यालय के समीप प्रदर्शन किया।इस दौरान उन्होंने अवैध खनन की जांच कर खेतों का समतलीकरण कराने की मांग की। कहा कि अगर किसानों के हितों के साथ खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
मंगलवार को कुमालदेव और भैरूचपट्टा के ग्रामीण जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचे। यहां उन्होंने शासन-प्रशासन के खिलाफ नारे लगाए। प्रदर्शनकारियों ने कहा कि खनन पट्टाधारक गुरुदेव सिंह चड्डा की मौत के बाद भी अवैध खनन को कारोबार धड़ल्ले से किया जा रहा है। कहा कि भैरूचौपट्टा में खड़िया खोदी गई, लेकिन वर्ष 2012 से अभी तक उन्हें मुआवजा नहीं मिल सका है। वर्ष 2002 से लगातार खड़िया खनन हुआ और वर्ष 2012 तक चला। खनन के बाद उनके खेत भी समतल नहीं किए गए और किसानों को मुआवजा भी नहीं दिया गया है। उन्होंने कहा कि किसान कई बार इस संबंध में जिला प्रशासन और जनप्रतिनिधियों को अवगत करा चुके हैं। बावजूद इसके किसी के कानों में जूं तक नहीं रेंग रही है। इस दौरान उन्होंने मुआवजा देने और खड़िया खनन की जांच की मांग की। कहा कि अगर किसानों के हितों के खेलने का प्रयास किया गया तो वे उग्र आंदोलन को बाध्य होंगे। यहां नरेश कुमार, नारायण राम, केवलानंद, अनिल कुमार, सुनील कुमार, जोगा राम, जीवन धौनी, गोपाल राम, मोहन राम, जगदीश चंद्र, जुगल किशोर, सुंदर कुमार आदि मौजूद रहे।