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नशा नही रोजगार दो आंदोलन की वर्षगांठ पर नशा मुक्त राज्य का लिया संकल्प

नुक्कड़ सभाओं में गैरसैंण राजधानी की वकालत, विकास प्राधिकरण का किया विरोधचौखुटिया। हमारे संवाददातानशा नही रोजगार दो आंदोलन की 46 वर्षगांठ के मौके पर बसभीड़ा में आयोजित नशा नही रोजगार दो, राजधानी...

नशा नही रोजगार दो आंदोलन की वर्षगांठ पर नशा मुक्त राज्य का लिया संकल्प
हिन्दुस्तान टीम,अल्मोड़ाSat, 01 Feb 2020 10:39 PM
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नुक्कड़ सभाओं में गैरसैंण राजधानी की वकालत, विकास प्राधिकरण का किया विरोधचौखुटिया। हमारे संवाददातानशा नही रोजगार दो आंदोलन की 46 वर्षगांठ के मौके पर बसभीड़ा में आयोजित नशा नही रोजगार दो, राजधानी गैरसैंण हो जन चेतना रैली के दौरान लोगों ने सरकार की नशा नीति और बेरोजगारी को लेकर जमकर प्रहार किए। इस दौरान चौखुटिया सहित विभिन्न क्षेत्रों में हुई नुक्कड़ सभा में राजधानी गैरसैंण बनाने तथा विकास प्राधिकरण को खत्म करने की वकालत की गई। वक्ताओं ने राज्य को नशा मुक्त बनाने का संकल्प लिया। इस मौके पर बोलते हुए कार्यक्रम के मुख्य संयोजक पीसी तिवारी ने कहा कि सरकारों की गलत नीतियों के चलते उत्तराखंड वासियों के सपने टूट गए हैं। नशाखोरी और बेरोजगारी बढ़ती जा रही है। गांव का किसान सूअर व बंदरों के आतंक के साथ ही आवारा जानवरों के उत्पात से परेशान है पर सरकारी महकमा सोया हुआ है। उन्होंने कहा कि गैरसैंण को स्थाई राजधानी बनाए बगैर जनता चुप रहने वाली नही है। लोगों के सब्र का बांध टूटने से पहले ही सरकार को इसकी घोषणा करनी चाहिए। सभा में अन्य वक्ताओं ने विकास प्राधिकरण को उत्तराखंड के लिए दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि अव्यवहारिक नियमों के चलते आम जनता के लिए घर बनाना भी मुश्किल हो गया है। वक्ताओं ने प्रदेश में बढ़ती बेरोजगारी व पलायन के लिए भी सरकार की नीतियों को जिम्मेदार ठहराया। अध्यक्षता माधो सिंह बिष्ट व संचालन प्रकाश जोशी व पवन तिवारी ने किया। इस मौके पर डा. कुलदीप सिंह बिष्ट, महेश फुलारा, बालादत्त तिवारी, त्रिलोक सिंह, रणजीत सिंह, गोकुल कांडपाल, दरबान सिंह, प्रगति आदि न विचार रखे।

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