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मेमू ट्रेन को पीएम मोदी ने दिखाई हरी झंडी, गूंजा हर-हर महादेव

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को राजातालाब के कचनार गांव के सभास्थल से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बनारस-बलिया मेमू ट्रेन का शुभारंभ किया। पीएम के झंडी दिखाते ही यह ट्रेन सिटी स्टेशन के...

बलिया से सुबह 4.45 पर और वाराणसी से शाम को 5.40 चलेगी ट्रेन (फोटो-मदन मेहरोत्रा)
1/ 2बलिया से सुबह 4.45 पर और वाराणसी से शाम को 5.40 चलेगी ट्रेन (फोटो-मदन मेहरोत्रा)
मेमू ट्रेन को पीएम मोदी ने दिखाई हरी झंडी (फोटो- मोहम्मद मुकीद)
2/ 2मेमू ट्रेन को पीएम मोदी ने दिखाई हरी झंडी (फोटो- मोहम्मद मुकीद)
वाराणसी। कार्यालय संवाददाता Sat, 14 Jul 2018 09:05 PM
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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को राजातालाब के कचनार गांव के सभास्थल से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बनारस-बलिया मेमू ट्रेन का शुभारंभ किया। पीएम के झंडी दिखाते ही यह ट्रेन सिटी स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर दो से रवाना हुई। इस दौरान मेमू में सवार लोगों ने हर-हर महादेव का उद्घोष गूंजा।  इस दौरान पहले दिन सफर करने वाले यात्रियों में इस बात की ख्रुशी थी कि अब बनारस आने जाने में काफी सहूलियत होगी। साथ ही कम समय में आवागमन हो सकेगा। सिटी स्टेशन पर प्रधानमंत्री के कार्यक्रम की वीडियो कांफ्रेंसिंग के लिए प्लेटफार्म नंबर दो पर ही जीआरपी बूथ के पास स्क्रीन लगाई गई थी। स्टेशन पर रेलवे के अधिकारी मौजूद थे। ट्रेन को फूलों से भव्य तरीके से सजाया गया था।

तेज गति से चलेगी मेमू
मेमू में एक्सलेरेशन व ब्रेकिंग तेज होने के कारण इसकी गति तेज रहेगी। एक ओर जहां ट्रेन से वायु प्रदूषण कम होगा वहीं दोनों तरफ ड्राइवर केबिन होने से दिशा बदलने में समय कम लगेगा। मेमू ट्रेन के चलने से बलिया और गाजीपुर के लोग सुबह वाराणसी से आएंगे और काम खत्म करके शाम को ही घर वापस लौट सकेंगे। दोनों जिलों से कारोबार और इलाज के लिए काफी मात्रा में लोग बनारस आते हैं। अब तक चल रही पैसेंजर ट्रेनों में भीड़ होती है। ऐसे में एक और ट्रेन चलने से उन्हें सहूलियत होगी। 

बलिया-गाजीपुर सिटी-बलिया खंड के विद्युतीकरण का लोकार्पण
250 करोड़ की लगात से बने बलिया-गाजीपुर सिटी-बलिया खंड के विद्युतीकरण कार्य का भी प्रधानमंत्री ने लोकार्पण किया। अब यह रेल खंड दिल्ली-हावड़ा और लखनऊ कटिहार खंडों से सीधे जुड़ सकेगा। अब इस मार्ग पर डिब्रूगढ़ राजधानी जैसे ट्रेनें आसानी से संचालित हो सकेंगी। इस परियोजना में इलैक्ट्रॉनिक इंटरलॉकिंग की आधुनिकतम तकनीकि का प्रयाग पहली बार किया जा रहा है। 

प्रतिदिन चलेगी ट्रेन 
प्रधानमंत्री ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिग के जरिए शनिवार को गाड़ी नंबर 65554 (स्पेशल ट्रेन) को हरी झंडी दिखाकर सिटी स्टेशन से रवाना किया। 15 जुलाई से यह ट्रेन प्रतिदिन चलेगी। रेगुलर होने के बाद शाम को वाराणसी सिटी स्टेशन से यह ट्रेन 63297 नंबर से 5.40 बजे चलेगी जो बलिया रात 9.20 बजे पहुंच जायेगी। वहीं बलिया से 63298 नंबर की ट्रेन सुबह 4.45 बजे चलेगी, जो वाराणसी 8.20 बजे पहुंचेगी। 

इन स्टेशनों पर होगा ठहराव 
सागरपाली, फेफना, चितबड़ागांव, ताजपुर डेहमा, करीमुद्दीनपुर, ढोंढाडीह, यूसुफपुर, शाहबाज कुली, गाजीपुर घाट, गाजीपुर सिटी, आकुशपुर, सहेड़ा हाल्ट, नन्दगंज, बासुचक हाल्ट, तरांव, सैदपुर भीतरी, औड़िहार जंक्शन, सिधौना रामपुर हाल्ट, राजवाड़ी, कादीपुर, सारनाथ।

कपूरथला में बनाये गए हैं कोच 
बनारस-बलिया मेमू ट्रेन के कोच कपूरथला कारखाने में बनाए गए हैं। इसका उत्पादन जनवरी में हुआ है। यह गुरुवार रात में मंडुवाडीह यार्ड में आ गए थे। ट्रेन में इंजन समेत नौ रैक हैं। हर कोच में यात्रियों के बैठने के लिए 96 सीटें हैं। जिसमें 1800 यात्री एक साथ सफर कर सकेंगे। दोनों तरफ सीटों के बीच में और दोनों कोच के बीच में खड़े होने के लिए, सामान रखने के लिए भी काफी स्थान है। 

बंद कर दी जायेगी एक डेमू
नई मेमू चलाये जाने से बलिया-फेफना और वाराणसी के बीच चलाई जा रही एक डेमू ट्रेन बंद कर दी जायेगी। ऐसा फिलहाल प्लेटफार्म की कमी से किया जा रहा है। बलिया से सुबह 75101 नंबर से पैसेंजर ट्रेन यहां आती थी और 75104 बनकर फेफना तक जाती थी। फिर शाम को फेफना से 75103 नंबर से वाराणसी आती थी और शाम को 75102 नंबर की यह ट्रेन बलिया जाती थी। अब इसका संचालन रोक दिया जायेगा। 
 
लखनऊ से आये लोको पायलट
वाराणसी-बलिया स्पेशल ट्रेन को रवाना करने के लिए पहले दिन लखनऊ से लोको पायलट आए थे। लोको पायलट राजीव पांडे और किसलय ने बताया कि शुभारंभ वाले दिन ट्रेन को ले जाते हुए काफी खुशी हो रही है। इससे भी बड़ी बात यह है कि ट्रेन को प्रधानमंत्री स्वयं हरी झंडी दिखा रहे हैं। ऐसे मौके जीवन में कभी-कभी ही आते है।

पहले ट्रेन कम होने से परिवार को प्राइवेट वाहन से ही बलिया ले जाते थे, लेकिन मेमू ट्रेन से रात में समय से घर पहुंचा जा सकता है। इससे काफी सहूलियत मिलेगी और परिवार के साथ आसानी से घर भी पहुंच जाएंगे।
दीपक सिंह, निवासी वाराणसी

वाराणसी से बलिया जाने के लिए चुनिंदा ट्रेन थीं। इससे बसों का ही सहारा लेना होता था। अब बलिया जाना है तो ट्रेन से शाम को जाकर और सुबह अपने काम के समय तक आराम से वापस आ सकते हैं।
शैलेंद्र तिवारी, निवासी वाराणसी 

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