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नया साल : मध्यरात्रि में प्रेम और करुणा के विस्तार की प्रार्थना

काशी में नए साल के उत्सव का आगाज बिल्कुल जुदा अंदाज में हुआ। एक तरफ होटलों में न्यू ईयर सेलिब्रेशन के नाम पर डांस और म्यूजिक की मस्ती की खुमारी छायी रही तो दूसरी ओर बुद्ध की उपदेशस्थली सारनाथ में...

नया साल : मध्यरात्रि में प्रेम और करुणा के विस्तार की प्रार्थना
वाराणसी। प्रमुख संवाददाताMon, 01 Jan 2018 07:43 PM
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काशी में नए साल के उत्सव का आगाज बिल्कुल जुदा अंदाज में हुआ। एक तरफ होटलों में न्यू ईयर सेलिब्रेशन के नाम पर डांस और म्यूजिक की मस्ती की खुमारी छायी रही तो दूसरी ओर बुद्ध की उपदेशस्थली सारनाथ में जुटे दुनियाभर के बौद्ध अनुयायियों ने आध्यात्मिक वातावरण में प्रेम और करुणा के विस्तार की प्रार्थना की।

रात्रि के ठीक 12 बजे सारनाथ स्थित केंद्रीय तिब्बती उच्च शिक्षा संस्थान परिसर स्थित अतिथिशालाओं और हॉस्टल की लाइटें जला दी गईं। सभी अपने-अपने कमरों से निकले और अतिशा सभागार में इकट्ठा हुए। सभी ने पहले प्रार्थना की फिर एक दूसरे को नववर्ष की शुभकामनाएं दीं। संस्थान के स्वर्ण जयंती उत्सव में शामिल होने के लिए दुनिया के 50 से अधिक देशों के बौद्ध अनुयायी इन दिनों सारनाथ आए हैं।

गंगा घाट बने आकर्षण का केंद्र
पुराने वर्ष को खुशी-खुशी विदाई देने के लिए न सिर्फ काशीवासी बल्कि दुनिया के विभिन्न देशों से जुटे पर्यटकों के लिए भी काशी के घाट आकर्षण का केंद्र बने। तिब्बत की निर्वासित सरकार के प्रधानमंत्री लोकथांग सांगे दशाश्वमेध घाट पर होने वाली गंगा आरती में पहुंचने के कारण सैकड़ों बौद्ध अनुयायी भी आरती देखने पहुंचे। आरती के दौरान बनने वाले आध्यात्मिक वातावरण की अनुभूति भी अपने साथ लेकर लौटे।

पहले दिन जश्न की तैयारी भी
गंगा पार रेत पर जाने का प्रतिबंध हटने के बाद साल के पहले दिन गंगा पार जाकर जश्न मनाने के लिए काशीवासी तैयार हैं। सूर्योदय से सूर्यास्त तक सभी के लिए गंगा पार पिकनिक की पूरी छूट है। एक तरफ जहां स्थानीय लोगों ने अपने पसंदीदा पिकनिक स्पॉट पर जाने और जाने पहचाने तरीके से मस्ती करने योजना बनाई है वहीं दुनिया के दूसरे देशों से सारनाथ में जुटे पर्यटकों ने बनारस को जानने समझने की प्लानिंग की है। 

अस्सी घाट पर किए गए खास इंतजाम
नए साल के मौके को देखते हुए अस्सी घाट पर सुबह-ए-बनारस की ओर से खास तैयारी की गई है। नव विहान पर विविध रंगों वाले पुष्पों से घाट की सजावट की जा रही है। नए साल की पहली सुबह को यादगार बनाने के लिए कोलकाता के कलाकार आमंत्रित किए गए हैं। वहीं रीवा घाट पर नित्य होने वाले आयोजन घाट संध्या को भी विशेष भव्यता प्रदान की गई है। वहीं रविवार की शाम अस्सी घाट पर हॉट एयर बैलून के माध्यम से काशी दर्शन करने वालों का तांता रहा। 

मॉल में सजावट, रही खूब चहलपहल
पुराने साल की विदाई और नए साल के स्वागत के लिए शहर के सभी छोटे बड़े मॉल खासतौर पर सजाए गए हैं। तरह-तरह की रंगबिरंगी लाइट और म्यूजिक के जरिए माहौल को उत्सवी बनाने की पूरी कोशिश की गई है। 31 दिसंबर को पूरे दिन शहर के मॉल्स में खूब चहल-पहल रही। साल के पहले दिन लोगों को लुभाने के लिए तरह-तरह के ऑफर भी पेश किए हैं। 

विदेशी सैलानियों के लिए खास इंतजाम
काशी में गंगा किनारे छोटे-बड़े होटलों, रेस्टूरेंटों और लॉज में विदेशी सैलानियों के लिए संगीत के खास इंतजाम किए गए। ज्यादातर होटलों में शास्त्रीय संगीत की महफिलें सजाई गई। रात्रि 9.30 बजे से शुरू हुए संगीत के कार्यक्रमों का दौर मध्यरात्रि के बाद तक चलता रहा। कहीं सितार की झनकार मुखर हो रही थी तो कहीं सरोद और सारंगी की स्वरलहरियां सैलानियों को अलग ही अंदाज में झुमा रही थीं।

पिकनिक स्पॉट पर उमड़ेंगे लोग 
नए साल की पूर्व संध्या पर ही उत्सव का आलम दिखाई पड़ने लगा था। मौसम का मिजाज पिछले कुछ दिनों की तुलना में बेहतर होने का भरपूर लाभ उठाते हुए लोगों ने सारनाथ में पूरे दिन मौज मस्ती की। सारनाथ म्यूजियम, मूलगंध कुटी विहार, थाई टेंपल, खंडहर परिक्षेत्र से लेकर डियर पार्क तक लोगों की भीड़ से भरे रहे। वहीं सारंगनाथ मंदिर में भी दर्शनार्थियों की लंबी कतार देखी गई।

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