महराजगंज: बीए-बीसीए के दो छात्रों ने ई-कॉमर्स कंपनियों के खाते हैक कर 70 लाख उड़ाए
उत्तर प्रदेश केे महराजगंज जिले में साइबर अपराध के एक बड़े मामले का पुलिस ने पर्दाफाश किया है। बीसीए और बीए में पढ़ने वाले बृजमनगंज क्षेत्र के दो दो दोस्तों ने ई- कॉमर्स कंपनियों की सुरक्षा...
उत्तर प्रदेश केे महराजगंज जिले में साइबर अपराध के एक बड़े मामले का पुलिस ने पर्दाफाश किया है। बीसीए और बीए में पढ़ने वाले बृजमनगंज क्षेत्र के दो दो दोस्तों ने ई- कॉमर्स कंपनियों की सुरक्षा में सेंध लगाकर 60 से 70 लाख रुपये उड़ा लिए। यह रकम उन्होंने अपने खाते में ट्रांसफर की। दोनों को शुक्रवार को महराजगंज शहर के मऊपाकड़-चिउरहा मोड़ से गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया।
पुलिस कार्यालय में शुक्रवार की शाम मीडिया से बातचीत में एसपी प्रदीप गुप्ता ने इस फर्जीवाड़े का खुलासा किया। एसपी ने बताया कि पुलिस ने अपने साइबर मुखबिरों को खासतौर पर सक्रिय किया है। मुखबिर की सूचना पर यह भंडाफोड़ हुआ। बताया कि गिरफ्तार आरोपितों में से एक विशाल यादव (22) बृजमनगंज क्षेत्र के बंजरहवा सोनबरसा टोला गौहरपुर का रहने वाला है। वह लखनऊ के एक कालेज में बीसीए प्रथम वर्ष का छात्र है। दूसरा आरोपित आकाश यादव (20) बृजमनगंज क्षेत्र के दरबारी चक लेहड़ा का निवासी है। वह बृजमनगंज क्षेत्र के एक डिग्री कालेज में स्नातक प्रथम वर्ष का छात्र है।
यू-ट्यूब से हैकिंग सीख बग हंटिंग से कर रहे थे धोखाधड़ी
एसपी ने बताया कि दोनों पिछले दो वर्ष से ऑनलाइन हैकिंग के जरिये यह अपराध कर रहे थे। विशाल ने यू-ट्यूब से आनलाइन हैकिंग सीखी। बग हंटिंग का कोर्स भी किया। यू-ट्यूब चैनल के जरिए विभिन्न तरह के एप्लीकेशन से ई-कॉमर्स कम्पनियों के वेब पेज के सोर्स कोड में बग/इरर ढूंढते थे। एरर मिलने के बाद ई- कॉमर्स में फर्जी इमेल आईडी व डिस्पोजेबल मोबाइल नंबर से खाता बनाकर कम्पनी की रियल वैल्यू को कमांड देकर वास्तविक मूल्य को कम करके पेमेंट करते थे। ऑर्डर खरीदने व पेमेंट करने के बाद उसे कैंसिल कर देते थे। फिर वास्तविक मूल्य अपने बैंक व पेटीएम के एकाउंट में मंगा लेते थे। इस तरह से दोनों लाखों रुपये की हेराफेरी, ऑनलाइन ठगी व धोखेधड़ी करके 60 से 70 लाख रुपये अपने खाते में मंगा चुके थे।
लेहड़ा बाजार का युवक उपलब्ध कराता था आधार
एसपी के मुताबिक आरोपी विशाल ने बताया कि वह अपने साथी आकाश यादव के साथ मिलकर फ्लिपकार्ट पर फर्जी मोबाइल नम्बर से रजिस्ट्रेशन व ई-वालेट बनाते थे। फ्लिपकार्ट से दस हजार रुपये तक के सामानों का ऑर्डर करते थे। सामान मिलने पर भी फ्लिपकार्ट को मोबाइल व ईमेल के माध्यम से बताते थे कि सामान नहीं मिला है। सिर्फ खाली डिब्बा मिला है। उसके बाद फ्लिपकार्ट के वेरिफिकेशन में एक आईडी की आवश्यकता होती थी। इसी आईडी के रूप में आधार कार्ड का उपयोग करते थे। आधार कार्ड ईमेल से भेजने के बाद फ्लिपकार्ट कम्पनी ऑर्डर किए हुए सामान की कीमत का इन हैकरों के फ्लिपकार्ट ई-वालेट में कैशबैक बाउचर भेज देती थी। उस बाउचर से अलग-अलग फ्लिपकार्ट आईडी बनाकर खरीदारी करते थे। दोनों ने बताया कि लेहड़ा बाजार का रहने वाला राहुल आधार कार्ड मुहैया कराता था।
दोनों के पास से यह हुई बरामदगी
एसपी ने बताया कि दोनों साइबर हैकर के पास से पांच आईफोन, एक एंड्रायड फोन, लैपटॉप, विभिन्न प्रदेशों के भिन्न-भिन्न नाम-पते वाले 23 आधार कार्ड, एक आईबाल वाईफाई कनेक्टर, एक बाइक बरामद हुई है।
इस टीम को मिली सफलता
गिरफ्तार करने वाली पुलिस टीम में साइबर सेल प्रभारी निरीक्षक मनोज कुमार पंत, कोतवाली के निरीक्षक परमाशंकर यादव, साइबर सेल के हेड कांस्टेबल प्रफुल्ल कुमार यादव, आलोक पाण्डेय, सत्येन्द्र मल्ल, कोतवाली के एसआई भूपेन्द्र कुमार सिंह, हेड कांस्टेबल रमेश चन्द्र, रमेश यादव, राजीव कुमार यादव, ज्योत्सना त्रिपाठी, गुन्जन यादव शामिल हैं। एसपी ने पुलिस टीम को शाबाशी दी है।