गठबंधन में मुस्लिम राजनीतिक दल शामिल करें: एएमयू छात्रसंघ
एएमयू छात्रसंघ ने सपा-बसपा के लोकसभा चुनाव को लेकर हुए गठबंधन को ठगबंधन बताया। कहा कि यह दोनों पार्टियां मुसलमानों के वोट पर हमेशा सत्ता हासिल करती आयी हैं, लेकिन इस तथाकथित गठबंधन में मुस्लिम...
एएमयू छात्रसंघ ने सपा-बसपा के लोकसभा चुनाव को लेकर हुए गठबंधन को ठगबंधन बताया। कहा कि यह दोनों पार्टियां मुसलमानों के वोट पर हमेशा सत्ता हासिल करती आयी हैं, लेकिन इस तथाकथित गठबंधन में मुस्लिम राजनीतिक दलों का कोई प्रधिनित्व नहीं दिख रहा है। जबकि कांग्रेस से कोई औपचारिक गठबंधन न होने के बावजूद कांग्रेस अध्यक्ष और उपाध्यक्ष के लिए दो सीटें छोड़ी गई हैं।
एएमयू छात्र संघ मुस्लिम पार्टियों को जोड़कर नया फ्रंट तैयार करने का प्रयास करेगी। यूनियन हॉल में प्रेस से चर्चा में सचिव हुजैफा आमिर ने कहा कि मुसलमानों को तथाकथित धर्मनिरपेक्ष दलों ने हमेशा वोट बैंक के तौर पर इस्तेमाल किया है। मुस्लिम समाज आज सत्ता में अपनी प्रभावी भागीदारी चाहता है। उत्तर प्रदेश में एमआइएम, राष्ट्रीय उलेमा कौंसिल, पीस पार्टी जैसे तमाम राजनीतिक दल है, जो जमीनी सतह पर काम करें रहे हैं। इन्हें गठबंधन में उचित स्थान दें।
सत्ता में हिस्सेदारी चाहता है मुसलमान: हमजा सुफियान
छात्रसंघ उपाध्यक्ष हमजा सुफ़यान ने कहा कि आज देश का मुसलमान सत्ता में हिस्सेदारी चाहता है, वह सिर्फ दरबारी बन कर नहीं रहना चाहता है। उन्होंने दोनों दलों के राष्ट्रीय अध्यक्षों से सवाल किया कि वह बताएं किदेश और प्रदेश के मुसलमानों के सामाजिक और तालीमी मसलों को लेकर कौन सा एजेंडा ला रहे हैं। इस अवसर पर सभी कैबिनेट सदस्य और वरिष्ठ छात्र मौजूद रहे।