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International Airport से कुशीनगर बनेगा पर्यटन हब, बुद्ध सर्किट की सम्‍भावनाओं को लगेंगे पंख 

प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी की अध्‍यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट की बैठक में बौद्ध तीर्थ स्थल कुशीनगर अंतरराष्‍ट्रीय हवाई अड्डा को मंजूरी दे गई है। इसके साथ ही अंतरराष्ट्रीय हवाई...

International Airport से कुशीनगर बनेगा पर्यटन हब, बुद्ध सर्किट की सम्‍भावनाओं को लगेंगे पंख 
प्रमुख संवाददाता ,गोरखपुरWed, 24 Jun 2020 05:19 PM
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प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी की अध्‍यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट की बैठक में बौद्ध तीर्थ स्थल कुशीनगर अंतरराष्‍ट्रीय हवाई अड्डा को मंजूरी दे गई है। इसके साथ ही अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए तैयारियां तेज हो गई हैं और इससे जुड़ी उम्‍मीदें परवान चढ़ती दिख रही हैं। जानकारों का मानना है कि एक बार अंतरराष्‍ट्रीय उड़ानें शुरू हो गईं तो कुशीनगर को पर्यटन का हब बनते देर नहीं लगेगी। इससे बुद्ध सर्किट के देशों को लेकर पर्यटन और रोजगार की सम्‍भावनाओं को पंख लग जाएंगे। कैबिनेट के एलान से कुशीनगर में जश्‍न का माहौल है।

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कुशीनगर अंतरराष्‍ट्रीय हवाई अड्डा से पहले चरण में म्यांमार, बैकॉक, सिंगापुर, भैरहवा, काठमांडू के लिए उड़ानें शुरू करने की योजना है। अगले चरण में श्रीलंका, कोरिया, भूटान, जापान और बुद्ध सर्किट के अन्‍य देशों के लिए भी उड़ानें शुरू होंगी। इन देशों से बड़ी तादाद में बौद्ध पर्यटक भारत आते हैं। हवाई अड्डा पूर्वी उत्‍तर प्रदेश में बौद्ध पर्यटन संभावनाओं को बढ़ावा देगा। यह क्षेत्र पूरी दुनिया से तीर्थ यात्रियों और पर्यटकों को आकर्षित करता है। 

लखनऊ में 2018 में आयोजित इन्वेस्टर समिट में प्रधानमंत्री नरेन्‍द्र मोदी ने कुशीनगर हवाई पट्टी को अंतरराष्‍ट्रीय हवाई अड्डा बनाने की घोषणा की थी। इसके बाद तीन सितंबर 2018 को कारगो की छह सदस्सीय टीम ने हवाई पट्टी का निरीक्षण भी किया था। छह सीटर विमान से आई इस टीम ने एअरपोर्ट के व्यवसायिक उपयोग की संभावनाओं को टटोला था। तैयारियों से संतुष्ट दिखे कारगो के जनरल सेक्रेटरी ने कुशीनगर एअरपोर्ट को हवाई यात्रा के अतिरिक्त व्यवसायिक हब बनाने की बात भी कही थी। उनका कहना था कि एअरपोर्ट के बन जाने से नेपाल के अलावा भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को परिवहन सुविधा का लाभ मिलेगा।

इसी साल मार्च में कुशीनगर दौरे पर गए मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने जल्‍द से जल्‍द कुशीनगर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा शुरू होने का भरोसा दिया था। उन्‍होंने कहा था कि सरकार इस दिशा में तेजी से काम कर रही है। मुख्‍यमंत्री के निर्देश पर सिविल टर्मिनल और बाउंड्रीवाल का काम पूरा कर लिया गया है। फोरलेन से हवाई अड्डे को जोड़ने का काम प्रगति पर है। इसके लिए हाल में 21 करोड़ रुपए जारी किए गए थे। 

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2009 से अटका हुआ था हवाई अड्डा का काम 
कुशीनगर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा के प्रस्‍ताव पर 2009 में काम शुरू हुआ था। तब उत्‍तर प्रदेश में मायावती सरकार थी। हवाई अड्डा के लिए अधिग्रहण शुरू हुआ लेकिन परवान नहीं चढ़ सका। वर्षों तक अलग-अलग बहानों से इसका काम अटका रहा। स्‍थानीय स्‍तर पर इसे लेकर सियासत भी खूब हुई। 2012 में आई अखिलेश सरकार ने 2013 में इसके लिए टेंडर निकाला। बताते हैं कि सरकार के प्रयासों पर कम्‍पनियां मौखिक हामी तो भरती थीं लेकिन टेंडर की बोली में शामिल नहीं होती थीं। बीच में इक्‍का-दुक्‍का बार कुछ कम्‍पनियों ने रुचि दिखाई तो लगा कि अब हवाई अड्डा का काम आगे बढ़ेगा लेकिन ऐसा हो नहीं सका। 2015 में राज्‍य सरकार ने इसके लिए 197 करोड़ रुपए जारी किए। चहारदीवारी और रन वे का काम शुरू हुआ लेकिन इसकी गति बेहद धीमी थी। निर्माण की गुणवत्‍ता पर भी सवाल उठते रहे। 2017 में योगी सरकार बनने के बाद प्रक्रिया में थोड़ी तेजी आई। जमीन अधिग्रहण तेजी से किया जाने लगा। वर्तमान में चहारदीवारी का काम करीब 90 फीसदी तक पूरा हो चुका है। एटीसी बिल्डिंग भी 95 प्रतिशत तक पूरी हो चुकी है। पम्‍प और पुलिस स्‍टेशन का काम चल रहा है। टर्मिनल बिल्डिंग से एप्रेन तक का काम पूरा हो चुका है। इस बीच एअरपोर्ट के रन वे पर कारगो कम्‍पनी के कुछ स्‍टेट प्‍लेन सुरक्षित ढंग से उतरते रहे हैं। मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने कुशीनगर दौरे पर कहा था कि काम पूरे होते ही अंतरराष्‍ट्रीय उड़ानें शुरू की जाएंगी।

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