नकली नोटों का बांग्लादेशी कनेक्शन, पश्चिम बंगाल के रास्ते यूपी में हो रही थी तस्करी, एटीएस ने दो पकड़ा
यूपी एटीएस ने नकली नोटों की तस्करी करने वाले दो युवकों को गिरफ्तार किया है। दोनों के पास से 45 हजार रुपये के नकली नोट बरामद हुए हैं। बांग्लादेश में जाली नोट कनेक्शन की जांच चल रही है।
Fake Note: यूपी एटीएस की बड़ी सफलता मिली है। नकली नोटों का बांग्लादेशी कनेक्शन मिलने के बाद प्रशासन हरकत में आ गया है। मंगलवार को यूपी एटीएस की वाराणसी इकाई ने जाली भारतीय नोटों की तस्करी करने वाले गिरोह के दो सदस्यों को रिंग रोड पर आजमगढ़ बाईपास के पास से गिरफ्तार कर लिया। दोनों के कब्जे से 45 हजार के नकली भारतीय नोट बरामद हुए हैं। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि वह बांग्लादेश से तस्करी कर लाई गई नकली नोटों की यूपी के विभिन्न जिलों में सप्लाई करते थे।
पकड़े गए आरोपियों की पहचान अंकुर मौर्य और विपिन गुप्ता उर्फ अवनीश के तौर पर हुई है। दोनों आंबेडकर नगर के टांडा कोतवाली क्षेत्र के चिन्तौरा गांव के रहने वाले हैं। दोनों के विरुद्ध टांडा कोतवाली में पहले से मुकदमा दर्ज है और जेल भी जा चुके हैं। उनके पास से 45 हजार की जाली नोट, आधार कार्ड, एक मोबाइल और फरक्का (पश्चिम बंगाल) जाने का ट्रेन टिकट बरामद हुआ है।
एटीएस के अनुसार खुफिया सूचना के आधार पर दोनों को पकड़ा गया। दोनों पश्चिम बंगाल के फरक्का से अपने साथियों के संग आए थे। पकड़े गये दोनों तस्करों का संबंध प्रतापगढ़ और मालदा के गिरोह से है। प्रतापगढ़ के माधोपुर महेशपुर (लालगंज) निवासी अक्षयलाल चौरसिया के जरिये दोनों पश्चिम बंगाल के मालदा के कालियाचक निवासी इंद्रजीत मंडल तक पहुंचे थे। इंद्रजीत मंडल ने ही जाली नोट दी थी। लालपुर-पांडेयपुर थाने में अंकुर मौर्य व विपिन गुप्ता के साथ ही अक्षयलाल चौरसिया, इंद्रजीत मंडल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया गया है।
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