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तीन मौतों से अपने अब भी हैं अंजान, पूछते हैं हालचाल

बेटी की विदाई के बाद सिंधौली के पैना सुंदरनगर गांव में मेहमानों के लिए खाना बनाने के दौरान गैस सिलेंडर में आग लग गई थी। आग में झुलसे 11 लोगों में दुल्हन की मां मंजू, बहन शलिनी और उसके मामा शोभित की...

बेटी की विदाई के बाद सिंधौली के पैना सुंदरनगर गांव में मेहमानों के लिए खाना बनाने के दौरान गैस सिलेंडर में आग लग गई थी। आग में झुलसे 11 लोगों में दुल्हन की मां मंजू, बहन शलिनी और उसके मामा शोभित की...
1/ 2बेटी की विदाई के बाद सिंधौली के पैना सुंदरनगर गांव में मेहमानों के लिए खाना बनाने के दौरान गैस सिलेंडर में आग लग गई थी। आग में झुलसे 11 लोगों में दुल्हन की मां मंजू, बहन शलिनी और उसके मामा शोभित की...
बेटी की विदाई के बाद सिंधौली के पैना सुंदरनगर गांव में मेहमानों के लिए खाना बनाने के दौरान गैस सिलेंडर में आग लग गई थी। आग में झुलसे 11 लोगों में दुल्हन की मां मंजू, बहन शलिनी और उसके मामा शोभित की...
2/ 2बेटी की विदाई के बाद सिंधौली के पैना सुंदरनगर गांव में मेहमानों के लिए खाना बनाने के दौरान गैस सिलेंडर में आग लग गई थी। आग में झुलसे 11 लोगों में दुल्हन की मां मंजू, बहन शलिनी और उसके मामा शोभित की...
हिन्दुस्तान टीम,शाहजहांपुरMon, 13 May 2019 12:04 AM
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बेटी की विदाई के बाद सिंधौली के पैना सुंदरनगर गांव में मेहमानों के लिए खाना बनाने के दौरान गैस सिलेंडर में आग लग गई थी। आग में झुलसे 11 लोगों में दुल्हन की मां मंजू, बहन शलिनी और उसके मामा शोभित की मौत हो गई थी। बाकी आठ लोग जिला अस्पताल के बर्न बार्ड में भर्ती हैं, जिनमें से कुछ पहली मंजिल व कुछ दूसरी मंजिल पर भर्ती हैं।

सभी लोग तीनों मौतों से अंजान हैं। दूसरी मंजिल पर भर्ती लोग जब मंजू, शिवानी और शोभित के बारे में पूछते, तो उन्हें बता दिया जाता कि सभी नीचे वार्ड में हैं। यहीं बात जब नीचे वार्ड में भर्ती लोग पूछते, तो उन्हें बता दिया जाता कि सभी दूसरी मंजिल पर स्थित वार्ड में भर्ती हैं। भर्ती लोगों की सेवा करने वाले लोग वार्ड से बाहर निकल खूब रोते और फिर वार्ड में जाकर सेवा करने लगते। ऐसा देख वार्डों में भर्ती मरीजों व तीमारदारों की आंख भर आती है।

सतीश ने खो दी है सुधबुध

सतीश की हालत बहुत खराब है। उसे कुछ भी समझ में नहीं आ रहा कि वह आखिर क्या करे। अग्निकांड में सतीश की पत्नी मंजू, उसकी बेटी शालिनी और साले शोभित की मौत हो चुकी है। सतीश उस काल की घड़ी को भुला नहीं पा रहा है। गुमसुम रहता है। लोग कहते कुछ और हैं। वह सुनता कुछ और है। जिला अस्पताल में सतीश की बेटी नीरज, सतीश का साला धर्मेंद्र, सास रामश्री के अलावा रेखा, जितेंद्र, सोनी और सोनी का डेढ़ साल का बेटा सौरभ भर्ती है।

प्रकाश बोला: सब किस्मत का खेल है

अग्निकांड में प्रकाश की पत्नी सोनी और उसका डेढ़ साल का बच्चा सौरभ भी आग से झुलस गया। सोनी उस मंजर को याद कर रो पड़ती है। प्रकाश चुप कराता। बोला: भाई सब किस्मत का खेल है। शायद ईश्वर को यही मंजूर था। पत्नी व बेटा सही सलामत है। इससे बढ़कर मेरे लिए कुछ नहीं है।

दुल्हन भी है गुमसुम

जिला अस्पताल में भर्ती लोगों संग मौजूद तीमारदारों ने बताया कि इस घटना ने सभी को रूला दिया है। खुशियां मातम में बदल गईं हैं। दुल्हन अपने घर जरुर गई है, लेकिन गुमसुम है। वहीं, गांव के भी लोग इस घटना से परेशान हैं। सतीश के घरवालों की हालत देख ग्रामीणों की आंख भर आती है।

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