पूर्व एमएलसी के ट्रस्ट की भूमि पर मिला स्टे
बसपा के पूर्व एमएलसी हाजी इकबाल के लिए राहत भरी खबर है। उनके प्रभाव वाले अब्दुल वहीद एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट की 745 बीघा जमीन के निरस्त किए...

बसपा के पूर्व एमएलसी हाजी इकबाल के लिए राहत भरी खबर है। उनके प्रभाव वाले अब्दुल वहीद एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट की 745 बीघा जमीन के निरस्त किए पट्टों पर यूपी राजस्व बोर्ड ने रोक लगा दी है। साथ ही प्रशासन से इस संबंध में जवाब दाखिल करने को कहा है।
बसपा के पूर्व एमएलसी के प्रभाव वाले अब्दुल वहीद एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट ने वर्ष 1975-76 में जमीन के पट्टे आवंटित हुए थे। बेहट तहसील के गांव शेरपुर पेलो, रोशनपुर पेलो और अली अकबरपुर में 115 लोगों को जमीन आवंटित हुई थी। उन लोगों से ट्रस्ट ने 744 बीघा जमीन खरीद ली और कब्जा भी ले लिया। उस जमीन को अवैध तरीके के खरीदा हुआ बताकर वर्ष 2018 में एडीएम वित्त और राजस्व की अदालत में सुनवाई शुरू हो गई। आरोप था कि ट्रस्ट के पदाधिकारियों ने गलत तरीके से जमीन को खरीदा है। लंबी सुनवाई के बाद एडीएम की अदालत ने आठ सितंबर को पट्टे रद्द कर दिए। साथ ही जमीन को सरकार के पक्ष में दर्ज कर कब्जा लेने के आदेश दिए।
हाईकोर्ट के अधिवक्ता आईबी यादव के मुताबिक इस मामले के खिलाफ अब्दुल वहीद एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट की ओर से प्रयागराज के राजस्व बोर्ड में दस्तक दी गई। सुनवाई के बाद राजस्व परिषद की न्यायिक सदस्य भावना श्रीवास्तव की अदालत ने एडीएम वित्त व राजस्व की अदालत द्वारा किए गए आवंटन निरस्त के आदेश पर रोक लगा दी। साथ ही अगली सुनवाई के लिए 29 नवंबर की तारीख तय की है। इस तारीख को प्रशासन के अफसरों से भी जवाब मांगा गया है।
-अवमानना याचिका दाखिल की
ग्लोकल यूनिवसिर्टी के प्रो.वाइस चांसलर डा. सतीश कुमार शर्मा ने प्रेस रिलीज जारी कर बताया है कि अब्दुल वहीद एजुकेशनल एंड चैरिटेबल ट्रस्ट के पक्ष में पूर्व में भी हाईकोर्ट ने आदेश दिए हैं। लेकिन उसके बाद भी दोबारा इस मामले की प्रशासन की अदालत में सुनवाई करने से हाईकोर्ट की अववमानना है। इस संबंध में अवमानना याचिका दाखिल की है।
