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अब लोगों को साइबर अपराध से बचाने के लिए आई हैंडबुक

Rampur News - रामपुर पुलिस ने साइबर अपराध से बचाव के लिए एक हैंडबुक जारी की है। यह हैंडबुक यूपीआई, नेट बैंकिंग, आइडेंटिटी थेफ्ट और अन्य साइबर अपराधों के बारे में जानकारी प्रदान करती है। पुलिस अधीक्षक विद्या सागर...

Newswrap हिन्दुस्तान, रामपुरSun, 29 Dec 2024 12:26 AM
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अब लोगों को साइबर अपराध से बचाने के लिए आई हैंडबुक

साइबर अपराध से बचने के लिए रामपुर पुलिस ने हैंडबुक उपलब्ध कराई है। जिसे पढ़कर साइबर अपराध से बचाव किया जा सकता है। शनिवार को पुलिस अधीक्षक विद्या सागर मिश्र ने इसकी जागरूकता के लिए लोगों को हैंडबुक उपलब्ध कराई। वहीं, साइबर थाना पुलिस ने कार्यालयों,विद्यालयों और जनसेवा केंद्रों पर विशेष अभियान चलाने के लिए प्लान तैयार किया है। जिसमें छात्र-छात्राओं को जागरूक करने पर जोर दिया जाएगा। आज के दौर में साइबर जगत का इस्तेमाल सबसे अधिक युवा वर्ग द्वारा किया जाता है। ऐसे में साइबर क्राइम का शिकार होने के सर्वाधिक आशंका भी इसी वर्ग की होती है। युवा खासकर गेमिंग एप, आइडेंटिटी थेफ्ट, डेटिंग एप, सोशल मीडिया फ्रॉड, डिजिटल अरेस्ट से वसूली और नौकरी घोटाले की चपेट में आ सकते हैं। इसलिए सरकार इस वर्ग को जागरूक करने पर ज्यादा जोर दे रही है। साइबर क्राइम के प्रति आमजन को जागरूक करने के लिए योगी सरकार एक ऐसा हैंडबुक उपलब्ध कराई है, जिसमें उन सभी एहतियातों का उल्लेख है, जिन्हें अपनाकर साइबर क्राइम का शिकार होने से बचा जा सकता है।

हैंडबुक के अंदर है इसकी जानकारी

रामपुर। इस हैंडबुक में यूपीआई घोटाले, नेट बैंकिंग फ्रॉड,क्रेडिट कार्ड धोखाधड़ी, आइडेंटिटी थेफ्ट (पहचान की चोरी), निवेश या लॉटरी घोटाले, नौकरी घोटाले, ई कामर्स धोखाधड़ी, सोशल मीडिया फ्रॉड, डिजिटल अरेस्ट कर वसूली, गेमिंग एप फ्रॉड, डेटिंग एप फ्रॉड, फिशिंग फ्रॉड आदि के बारे में जानकारी दी गई है और उनसे बचाव के तरीके बताए गए हैं।

हैंडबुक में दर्ज कुछ महत्वपूर्ण उपाय-

-यूपीआई से भुगतान में कभी भी अपना पिन साझा न करें।

-भुगतान से पहले प्राप्तकर्ता की पहचान सत्यापित करें।

-नेट बैंकिंग फ्रॉड से बचने के लिए अंजान लिंक्स पर क्लिक न करें।

-बैंकिंग लेनदेन के लिए सार्वजनिक वाई फाई का प्रयोग न करें।

-ऐसी ऑनलाइन योजनाओं में निवेश न करें जो असामान्य रूप से उच्च रिटर्न का वादा करती हों।

-सोशल मीडिया पर अज्ञात लोगों की मित्रता उनके सत्यापन के बिना न करें।

-डिजिटल अरेस्ट से बचने के लिए धमकी भरे काल या ईमेल से न घबराएं और प्रतिक्रिया न दें।

-सोशल मीडिया हैकिंग से बचने के लिए जटिल और यूनिक पासवर्ड का प्रयोग करें।

-गेमिंग एप फ्रॉड से बचने के लिए केवल आधिकारिक एप स्टोर्स से ही गेम और एप्स डाउनलोड करें।

-डेटिंग एप पर सतर्क रहें और पासवर्ड या निजी तस्वीरें साझा न करें।

ये भी जरूरी टिप्स-

-बाहर जाते समय ऑनलाइन पोस्ट शेयर करने से बचें, ताकि किसी को आपके बाहर होने की खबर न लगे।

- डार्क वेव के प्रति सजग रहें, बच्चे अगर ऑनलाइन पढ़ाई या गेम खेलते हैं पर निगरानी भी जरूरी है।

- अपने बायोमैट्रिक डेटा और आधार को कभी किसी को न बताएं और उसे डिजिटली लॉक रखें, दो चरण का लॉक लगाएं।

- वाइस ओवर इंटरनेट प्रोटोकॉल वाइप के जरिये अपने अपने ऑनलाइन प्लेटफार्म पर हमें सुरक्षा प्रोटोकॉल रखें।

- किसी सार्वजनिक पावर चार्जिंग स्टेशन पर कभी मोबाइल चार्ज न करें, वहां हमेशा हैकिंग का खतरा बना रहता है।

ठगी होने से ऐसे करें बचाव, अपनाएं उपाय

-बैंक की ओर से खाते को लेकर कभी कोई डिटेल नहीं मांगी जाती है, आप जानकारी न दें।

- एटीएम पिन का पासवर्ड,ओटीपी समेत अन्य जानकारी भी किसी से शेयर न करें

- इंटरनेट पर किसी भी संदिग्ध लगने वाले लिक को क्लिक न करें

-ऑनलाइन बुकिंग के दौरान प्रचलित मोबाइल एप का ही प्रयोग करें

- एटीएम केबिन में कार्ड प्रयोग करते समय सतर्क रहें और मदद न लें

-एटीएम में स्कैनर लगा शातिर लोगों की डिटेल चुरा लेते हैं

- मोबाइल पर किसी तरह की लाटरी व पुरस्कार के लालच में न पड़े।

ये हैं साइबर अपराध, ऐसे बचें इनसे

- फेसबुक क्लोनिंग: हर दिन अपने फेसबुक दोस्तों से जांचें कि कोई क्लोन तो नहीं

-इंस्टाग्राम फिशिंग स्कैम: किसी भी कीमत पर फिशिंग संदेशों से कोई समझौता नहीं

-ओएलएक्स फ्राड किसी भी लालच में आकर एडवांस भुगतान किसी कीमत पर नहीं

-ऑफर्स से सावधान: सोशल साइट या मोवाइल पर आने वाले ऑफर्स से बचें

-ऑनलाइन लोन: कभी किसी भी मजबूरी में किसी ऑनलाइन लोन ऑफर से दूर रहें

मिस्ड कॉल : 92, 90, 09 या 344 से शुरू होने वाले कॉल से बचें, कॉल बैंक भी नहीं करें

-पासवर्ड गोपनीयता- अपने सोशल एकाउंट व बैंक एकाउंट पर पासवर्ड बदलते रहे।

इस तरह से हो रही साइबर ठगी

- डिजीटल अरेस्ट

- बैंकिंग व वित्तीय ठगी

- निवेश के नाम पर ठगी

- पार्सल के नाम पर

- परिचित बनकर

- फर्जी मुकदमे में फंसाने का डर

- आवाज बदलकर ठगी

- कुरियर में ड्रग्स होने की बात कहकर

- साइबर अपराध से बचाव के लिए जागरूकता बुक को लांच किया गया है। इसके अध्यन से लोगों को साइबर अपराध से बचाव के रास्ते मिलेंगे। साथ ही इसको लेकर ज्यादा से ज्यादा लोगों को जागरूक किया जा रहा है।

- विद्या सागर मिश्र,एसपी

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