
काशी विश्वनाथ धाम में प्लास्टिक बैन, अब बांस की टोकरी और स्टील के लोटे ही अंदर ले जा सकेंगे श्रद्धालु
संक्षेप: काशी विश्वनाथ धाम में प्लास्टिक बैन कर दिया गया है। यहां प्लास्टिक के सामान के साथ अब मंदिर में एंट्री नहीं मिलेगी। श्रद्धालु बांस के कटोरे व स्टील के लोहे में ही जल या दूध अंदर ले जा सकेंगे।
यूपी के वाराणसी स्थित काशी विश्वनाथ मंदिर में सोमवार से प्लास्टिक बैन कर दिया गया है। यहां प्लास्टिक के सामान के साथ अब मंदिर में एंट्री नहीं मिलेगी। श्रद्धालु बांस के कटोरे व स्टील के लोहे में ही जल या दूध अंदर ले जा सकेंगे। दरअसल मंदिर प्रशासन ने प्रदूषण को देखते हुए ये कदम उठाया है।

काशी विश्वनाथ धाम को सोमवार से पूर्णतः प्लास्टिक मुक्त परिसर घोषित किया गया है। इस अवसर पर मंदिर न्यास के अधिकारियों, मुख्य कार्यपालक अधिकारी, डिप्टी कलेक्टर, विशेष कार्याधिकारी सहित अन्य अधिकारियों की उपस्थिति में धाम के समीप स्थित गेट नंबर 4 से ढुंढिराज गणेश एवं माता विशालाक्षी मंदिर क्षेत्र के सभी पुष्प-माला विक्रेताओं को प्लास्टिक मुक्त धामअभियान के संबंध में जागरूक किया गया।
मुख्य कार्यपालक अधिकारी विश्व भूषण मिश्र ने बताया कि श्री काशी विश्वनाथ धाम परिसर में किसी भी प्रकार के प्लास्टिक के साथ प्रवेश पूर्णतः निषिद्ध है। प्लास्टिक की टोकरी, लोटा समेत अन्य सामग्री के साथ भी प्रवेश की अनुमति नहीं होगी। मंदिर न्यास पिछले एक माह से निरंतर अभियान चलाकर प्लास्टिक मुक्ति के प्रयास कर रहा है।
सात अगस्त को प्लास्टिक मुक्त धाम पहल के अंतर्गत मंदिर न्यास, स्थानीय विधायक डॉ नीलकंठ तिवारी, क्षेत्रीय पार्षद सुश्री कनकलता तिवारी सहित अन्य सभासदों ने मंदिर परिसर के दुकानदारों को पारंपरिक एवं पर्यावरण अनुकूल सामग्री के उपयोग के लिए प्रेरित किया था। इस अवसर पर बांस की टोकरियां और स्टील के लोटे वितरित किए गए थे। उधर, न्यास ने सभी श्रद्धालुओं, विक्रेताओं और काशीवासियों से विनम्र अनुरोध किया है कि वे धाम को स्वच्छ, सुरक्षित और प्लास्टिक मुक्त बनाने के लक्ष्य की प्राप्ति में सहयोग प्रदान करें।
आकाशदीप ने काशी विश्वनाथ में किया दर्शन-पूजन
उधर, इंग्लैंड दौरे से लौटने के बाद सोमवार को भारतीय क्रिकेट टीम के तेज गेंदबाज आकाशदीप ने श्री काशी विश्वनाथ और काशी कोतवाल बाबा काल भैरव मंदिर में दर्शन-पूजन किया। उन्होंने बनारसी अंदाज में गलियों में चाय की चुस्की का भी आनंद लिया। आचार्य वेंकटेश मिश्र ने बताया कि आकाशदीप ने बाबा श्री काशी विश्वनाथ का जलाभिषेक किया। इस दौरान मंदिर परिसर में उनके प्रशंसकों में खासा उत्साह देखने को मिला।





