हर्षोल्लास के साथ मनाया गया हनुमान जन्मोत्सव
कछवां, हिंदुस्तान संवाद। कछवां के कश्यप कुंड स्थित मूंछ वाले हनुमान जी के

कछवां, हिंदुस्तान संवाद।
कछवां के कश्यप कुंड स्थित मूंछ वाले हनुमान जी के मंदिर पर हनुमत जन्मोत्सव मनाया गया। मंदिर की साज सज्जा दर्शनीय रही। इस दौरान काफी संख्या में भक्त उपस्थित रहे।
प्रेमशंकर सिंह (मुख्खू) की अगुवाइ में शनिवार की शाम संगीतमय सुंदर काण्ड पाठ के बाद मूंछ वाले हनुमान जी के शृंगारित विग्रह की आरती उतारी गई। उसके बाद वाचिका देवी ऋचा मिश्रा ने भक्ति गीत की मनोहारी प्रस्तुति की। रामानुज आश्रम से पधारे स्वामी देवनायकाचार्य ने हनुमत जन्मोत्सव की सभी भक्तों को बधाई देते हुए हनुमान जी के चरित्र पर प्रवचन किया। कहा कि सभी देवी -देवताओं से ज्यादे हनुमान जी के मंदिर हैं और तो और चाहे शिवालय हों, देवी दुर्गा मंदिर हो, भगवान राम का मंदिर हो इन मंदिरों में भी हनुमान जी विराजमान हैं। उसका कारण है कि हनुमान जी का चरित्र उत्तम है। हनुमान जी एक अच्छे सेवक, एक अच्छे दूत, परम विवेकी और एक बहुत ही अच्छे योद्धा होते हुए भी बड़े दयालू हैं। जल्द प्रसन्न होने वाले हैं। जल्द ही प्रसन्न होना भगवान शंकर का गुण है और हनुमान जी महाराज शंकर स्वयं केशरी नंदन हैं।
हनुमान जी शंकर भगवान के रुद्रावतार हैं इसलिए जल्द ही प्रसन्न होते हैं। हनुमान जी कभी भी नाराज नहीं होते क्योंकि नाराज होना मनुष्य के अवगुण को दर्शाता है और हनुमान जी महाराज ज्ञान और गुण के सागर हैं। जो भी मनुष्य हनुमान जी की सेवकाइ (पूजा) करता है वो कभी भी किसी संकट में फंस ही नहीं सकता क्योंकि हनुमान जी महाराज संकट मोचन हैं। मन, कर्म और वचन से जो हनुमान जी का अनुसरण करता रहेगा वह कभी भी दरिद्र नहीं हो सकता। कार्यक्रम का संचालन बुल बुल मिश्रा ने किया। इस अवसर शालिग्राम उपाध्याय, रमाशंकर सिंह, व्यापार मंडल कछवां के अध्यक्ष आनंद गुप्ता, उद्योग व्यापार मंडल के संरक्षक अश्वनी मोदनवाल, राम कुमार उमर वैश्य, राकेश उपाध्याय आदि रहे ।
