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कार्यकर्ता पर आती आंच तो दौड़े चले आते मुलायम

मुलायम सिंह यादव के लिए पार्टी कार्यकर्ता परिवार के सदस्य की तरह था। अगर किसी कार्यकर्ता पर संकट आता था तो मुलायम सिंह उसके साथ खड़े दिखाई देते।...

कार्यकर्ता पर आती आंच तो दौड़े चले आते मुलायम
हिन्दुस्तान टीम,फिरोजाबादTue, 11 Oct 2022 07:05 PM
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मुलायम सिंह यादव के लिए पार्टी कार्यकर्ता परिवार के सदस्य की तरह था। अगर किसी कार्यकर्ता पर संकट आता था तो मुलायम सिंह उसके साथ खड़े दिखाई देते। संकट के दौर में कार्यकर्ताओं के पास पहुंचते एवं उन्हें ढांढस ही नहीं बंधाते, बल्कि ऐसे मौकों पर कई बार कार्यकर्ताओं ने प्रशासन के प्रति मुलायम का सख्त चेहरा भी देखा है। फिरोजाबाद में भी कई बार ऐसे मौके आए, जब पार्टी कार्यकर्ताओं पर संकट आया तो मुलायम उनसे मिलने आए।

धरती पुत्र मुलायम सिंह यादव मुख्यमंत्री बनने के बाद भी कार्यकर्ताओं से जुड़े रहे। उनकी एक आवाज पर सपा कार्यकर्ता सड़क पर उतर पड़ते थे। सिर्फ एक आह्वान पर चक्का जाम से लेकर बाजार बंदी तक में सपा नेताओं का जोश एवं जज्बा राजनीति के पंडितों को भी हैरान कर देता था कि आखिर सत्ता में न रहते हुए भी सपा कार्यकर्ताओं में आंदोलन का जज्बा कहां से आता है। इसके पीछे प्रमुख वजह थी तो नेताजी का कार्यकर्ताओं के साथ वो भावनात्मक लगाव, जो उनकी एक आवाज पर कार्यकर्ताओं को कुछ भी कर गुजरने का जज्बा दे जाता था। फिरोजाबाद में भी सन 2008 में सपा युवजन सभा के जिलाध्यक्ष राजकुमार राठौर के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था। बसपा की सरकार में हुए इस मुकदमे के बाद में सपा कार्यकर्ताओं में जोश का नया संचार करने को पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम खुद ही फिरोजाबाद आए। वह राजकुमार राठौर के घर पर गए तथा इसके बाद में उन्होंने प्रशासन से भी बात की थी कि अगर मेरे कार्यकर्ताओं के खिलाफ मुकदमे लिखे जाएंगे तो मैं आंदोलन करूंगा एवं धरने पर बैठ जाऊंगा। राजकुमार के परिजन उस वक्त जेल में थे, उनसे मिलने के लिए वह जेल भी गए।

हिम्मत है तो पुलिस सामने से पकड़ ले जाए...

2008 में गुर्जर आंदोलन में गुर्जरों के समर्थन में सपा नेताओं ने धरना-प्रदर्शन किया था। इस मामले में पूर्व विधायक अजीम भाई, योगेश गर्ग, आदर्श यादव, छुट्टन भाई के साथ में कइयों के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था। पुलिस इनको पकड़ने के लिए दबिश दे रही थी। उस वक्त मुलायम ने पीडी जैन में सभा की। पुलिस रिकॉर्ड में वांछित चल रहे सपा नेता उस वक्त नेताजी के साथ मंच पर थे। उन्होंने मंच से ही उन्होंने पुलिस प्रशासन से कहा कि मेरे कार्यकर्ताओं को मेरे सामने पकड़ कर जेल ले जाओ। सभा के बाद में यह कार्यकर्ता पुलिस के सामने ही बाहर निकले।

छात्र राजनीति में किंग मेकर की भूमिका निभाई

पढ़ाई के दौरान वह कभी सियासी अखाड़े में खुद न उतरे, लेकिन सियासी अखाड़े की बिसात उनके ही हिसाब से सजती थी। उस दौर के लोग बताते हैं कि वह अपने साथियों को चुनाव में उतारते तथा उनके लिए चुनावी बिसात तैयार करते। छात्र राजनीति की चुनावी बिसात से सियासत में इस कदर रमे कि वह कॉलेज की राजनीति से निकल कर देश की राजनीति में अहम स्थान पा गए।

हर जनसभा में याद दिलाते थे संघर्षों के दिन

पूर्व एमएलसी डॉ.दिलीप यादव बताते हैं मुलायम सिंह ने जब-जब फिरोजाबाद में जनसभाओं को संबोधित किया उन्होंने संघर्षों और आंदोलनों के दिनों को जरूर याद दिलाया। मुलायम कहते थे हमारे नेताओं और कार्यकर्ताओं ने लाठियां खाई हैं। हम लोग कई-कई महीने जेल में रहे थे। अकेली समाजवादी पार्टी ऐसी पार्टी है, जिसने यूपी में भाजपा को रोका है। कांग्रेस को पूरी तरह से खत्म कर दिया। मुलायम सिंह के ये कथन चुनाव के दौरान सपाइयों में जोश भर जाते थे।

वादा किया लेकिन दोबारा चुनाव नहीं लड़ा

मुलायम सिंह जब 2002 के विस चुनाव के दौरान जनसभाओं को संबोधित कर रहे थे तो वे शिकोहाबाद सीट से जनसभा करने आए। उन्होंने मंच से जब हरिओम यादव के लिए वोट मांगे तो जनता से वादा किया कि इस बार हरिओम को जिता दो अगली बार मैं चुनाव लड़ने के लिए आऊंगा। मुलायम वादा तो कर गए लेकिन सियासत में व्यस्तता के चलते वे फिर दोबारा यहां से चुनाव लड़ने नहीं आए।

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