नए साल में कस्तूरबा विद्यालयों में इंटर तक शुरू हो जाएगी पढ़ाई
Maharajganj News - महराजगंज में नए साल 2025 से कस्तूरबा विद्यालयों में इंटर तक की पढ़ाई शुरू होगी। दिव्यांग बच्चों के लिए समेकित विद्यालय का संचालन होगा और 52 परिषदीय विद्यालयों का कायाकल्प कर उन्हें मॉडल बनाया जाएगा।...

महराजगंज, हिन्दुस्तान टीम। नए साल में शिक्षा के क्षेत्र में जिले को बड़ी उपलब्धियां हासिल होंगी। सभी कस्तूरबा विद्यालयों में जहां इंटर तक की पढ़ाई शुरू हो जाएगा, वहीं समेकित विद्यालय में नए सत्र से दिव्यांग बच्चे पढ़ाई कर सकेंगे। जिले के 52 परिषदीय विद्यालयों का कायाकल्प कर मॉडल बना दिया गया है तो अगले साल जिले के सभी विद्यालयों को कांवेंट से बेहतर बनाया जाएगा। नए साल 2025 में जिले के सभी कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालयों में इंटर तक की पढ़ाई शुरू हो जाएगी। इसके लिए पांच ब्लाकों में भी विद्यालय भवन व छात्रावास का निर्माण कराया जा रहा है। निर्माण पूरा होने के बाद कक्षा आठ के बाद छात्राओं को दूर व दूसरे विद्यालय नहीं जाना होगा। उसी परिसर में उच्चीकृत कस्तूरबा विद्यालय में कक्षा नौ से 12वीं तक की पढ़ाई कर सकेंगी।
पहले से बने कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय में कक्षा छह से आठ तक की पढ़ाई होती है। इससे कक्षा आठ तक पढ़ाई पूरी करने के बाद छात्राओं को हाईस्कूल व इंटर की पढ़ाई के लिए दूसरे विद्यालय जाना पड़ता था। लेकिन अब इन विद्यालयों को उच्चीकृत कर हाईस्कूल व इंटरमीडिएट तक की पढ़ाई के लिए अलग विद्यालय भवन और गर्ल्स छात्रावास का निर्माण किया जा रहा है। यहां छात्राएं कक्षा नौ से 12वीं तक की पढ़ाई निशुल्क कर सकेंगी।
पहले चरण में जिले में सात ब्लाकों में एकेडमिक भवन व छात्रावास का निर्माण पूरा हो चुका है। इसमें सदर, सिसवा, निचलौल, वनग्राम निचलौल, फरेंदा, नौतनवा व परतावल ब्लाक में शिक्षण भवन व छात्रावास का निर्माण पूरा हो चुका है। यहां हाईस्कूल तक की पढ़ाई शुरू हो चुकी है। लेकिन अब पांच ब्लाकों में भी एकेडमिक व छात्रावास का निर्माण किया जा रहा है। इसमें मिठौरा, पनियरा, घुघली व बृजमनगंज में भी एकेडमिक व छात्रावास भवन का निर्माण किया जा रहा है। धानी ब्लाक में पर्याप्त जगह नहीं होने से डबल बिल्डिंग में बनेगी।
बीएसए श्रवण कुमार गुप्ता ने कहा, जिले में कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों का निर्माण तेजी के साथ कराया जा रहा है। उम्मीद है कि नए वर्ष में यहां प्रवेश शुरू हो जाएगा। सभी परिषदीय स्कूलों को मॉडल बनाया जा रहा है। सभी स्कूलों में डेस्क-बेंच हो जाएंगे।
अलग से शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया शुरू
उच्चीकृत कस्तूरबा विद्यालय में हाईस्कूल से लेकर इंटरमीडिएट तक की पढ़ाई होगी। इसके लिए अलग से शिक्षक व शिक्षणेत्तर कर्मचारियों के भर्ती की प्रक्रिया चल रही है। इसमें टीजीटी,पीजीटीस समेत कई पदों की अर्हता को देखते हुए शिक्षक व शिक्षणेत्तर कर्मचारियों की भर्ती होनी है। हालांकि महराजगंज में अभी शिक्षक व कर्मचारी भर्ती को लेकर विज्ञापन नहीं जारी किया गया है।
दस करोड़ से परिषदीय स्कूल डेस्क-बेंच से लैस हो जाएंगे
जिले के सभी 1705 परिषदीय विद्यालय अब सभी डेस्क बेंच से लैस हो जाएंगे। स्कूलों का कायाकल्प करने के बाद अब इन विद्यालयों पर डेस्क बेंच उपलब्ध कराया जा रहा है। जिले के 787 स्कूलों में भी डेंस्क बेंच खरीदकर उपलब्ध कराने की प्रक्रिया शुरू हो गई है।
बच्चों की लगेगी ऑनलाइन हाजिरी
परिषदीय विद्यालयों के बच्चों की उपस्थिति ऑनलाइन लगनी शुरू हो जाएगी। 15 फरवरी से ऑनलाइन हाजिरी दर्ज की जाएगी। इसके साथ ही मिड डे मील वाले विद्यार्थियों का संपूर्ण ब्योरा भी ऑनलाइन ही भेजा जाएगा। जिले के 1710 से अधिक प्राथमिक और कस्तूरबा आवासीय विद्यालयों में दो लाख से अधिक छात्र-छात्राएं पढ़ती हैं।
माडल बन जाएंगे सभी स्कूल
जनपद के 52 विद्यालयों को 52 अधिकारियों ने गोद देकर उनका कायाकल्प कर माडल बना दिया है। सुविधाओं से लैस ये विद्यालय नजीर बन गए हैं। जनसहयोग के माध्यम से ईन स्कूलों को न केवल कायाकल्प के सभी 19 पैरामीटर पर संतृप्त किया गया, बल्कि अधिकारियों ने अपने अपने स्तर पर नवाचार करते हुए विद्यालयों में पुस्तकालय, स्मार्ट क्लास रूम, ओपन क्लास रूम, एस्ट्रोनामी रूम, सीसीटीवी कैमरा, किचन शेड, बुक बैंक जैसी सुविधाएं उपलब्ध कराई है। सभी विद्यालयों दीवारों पर बाला पेंटिंग कराई गई है, ताकि बच्चों को रचनात्मक ढंग से सिखाया जा सके। विद्यालयों में मल्टीपल हैंडवाश, बैठने के लिए बेंच, झूला आदि भी लगवाया गया है। नए साल में इसी तर्ज़ पर पूरे जनपद के परिषदीय स्कूलों को मॉडल बनाया जाएगा।
समेकित विद्यालय में पढ़ेंगे दिव्यांग
दिव्यांग छात्र-छात्राओं को कक्षा छह से 12वीं तक शिक्षा देने के लिए शहर के धनेवा-धनेई में बने समेकित विशेष माध्यमिक विद्यालय का संचालन अगले शैक्षिक सत्र से शुरू होने की उम्मीदें प्रबल हो गई हैं। पहले साल कक्षा छह का संचालन शुरू कराया जाएगा। कक्षा पांच उत्तीर्ण करने वाले सभी दिव्यांग बच्चों का समेकित विद्यालय में दाखिला कराया जाएगा। इस विद्यालय में कम से कम पचास फीसदी सीट पर दिव्यांग बच्चों का ही प्रवेश होगा। अगर इससे अधिक दिव्यांग बच्चे होंगे तो प्रवेश में उनको वरीयता दी जाएगी।
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