हाईकोर्ट ने पूछा, चाइनीज मांझा की बिक्री पर रोक के लिए क्या व्यवस्था
हाईकोर्ट ने चाइनीज मांझा के आयात और बिक्री पर रोक के लिए राज्य सरकार से जवाब मांगा है। न्यायालय ने मामले की अगली सुनवाई 25 सितंबर को तय की है और जनपदवार कार्रवाई की सूची भी मांगी है। याचिका में चाइनीज...
हाईकोर्ट ने राज्य सरकार से मांगा जवाब मामले की अगली सुनवाई 25 सितम्बर को होगी
लखनऊ, विधि संवाददाता। हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने चाइनीज मांझा के आयात और बिक्री के खिलाफ दाखिल जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए, राज्य सरकार से पूछा है कि उसने इस पर रोक के लिए क्या व्यवस्था बनाई है। न्यायालय ने अगली सुनवाई पर जनपदवार कार्रवाई की सूची भी तलब की है। मामले की अगली सुनवाई 25 सितम्बर को होगी।
यह आदेश न्यायमूर्ति राजन रॉय और न्यायमूर्ति ओम प्रकाश शुक्ला की खंडपीठ ने स्थानीय अधिवक्ता मोतीलाल यादव की जनहित याचिका पर दिया। याची ने चाइनीज मांझे की वजह से लोगों और पशु-पक्षियों के घायल होने का हवाला देते हुए इसके आयात और बिक्री पर रोक लगाने की मांग की है। वहीं, राज्य सरकार की ओर से तमाम शासनादेशों का हवाला देते हुए बताया गया कि सिंथेटिक मांझा, लेड कोटेड, नायलॉन पतंग डोरी और चाइनीज मांझा पर रोक लगाते हुए, सभी जिलाधिकारियों और पुलिस अधीक्षकों को निर्देश जारी किये जा चुके हैं। हालांकि, न्यायालय इस जवाब से संतुष्ट नहीं हुआ और कहा कि प्रश्न शासनादेश जारी करने भर का नहीं है, उक्त शासनादेशों पर अमल किस प्रकार किया जा रहा है। न्यायालय ने इन टिप्पणियों के साथ पर्यावरण विभाग को भी पक्षकार बनाने का आदेश देते हुए, उससे भी जवाब तलब किया है।
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