केजीएमयू में खून की जांच दरें घटेंगी
-10 प्रतिशत तक कीमतें घटाने की तैयारी लखनऊ। वरिष्ठ संवाददाता केजीएमयू में मरीजों के...
-10 प्रतिशत तक कीमतें घटाने की तैयारी
लखनऊ। वरिष्ठ संवाददाता
केजीएमयू में मरीजों के लिए अच्छी खबर है। मरीजों को खून की जांच के लिए अब कम पैसे खर्च करने पड़ेंगे। मरीजों को और सस्ती दर पर खून की जांचें उपलब्ध होंगी। केजीएमयू प्रशासन ने इसका खाका तैयार कर लिया है। पीपीपी मॉडल पर काम कर रही कंपनी को कीमतें घटाने के लिए राजी कर लिया है। गुरुवार को केजीएमयू कार्यपरिषद की बैठक में यह अहम मसला रखा जाएगा। अधिकारियों ने इसे मंजूरी मिलने की उम्मीद जाहिर की है।
सामान्य दिनों में केजीएमयू की ओपीडी में रोजाना औसतन आठ से 10 हजार मरीज आते हैं। 70 से 80 प्रतिशत मरीजों को खून की जांचें लिखी जाती हैं। केजीएमयू में पीपीपी मॉडल पर संस्था जांच कर रही है। केजीएमयू खुद भी पैथोलॉजी का संचालन करती है। मरीजों के दबाव के मद्देनजर बीते कई वर्षों से पीपीपी मॉडल पर केजीएमयू में जांच हो रही है।
10 प्रतिशत तक कम होंगी कीमतें
कुलपति डॉ. बिपिन पुरी के मुताबिक मरीजों को बेहतर व सस्ती इलाज की सुविधा मुहैया कराने की दिशा में प्रयास किया जा रहा है। पैथोलॉजिकल जांच की कीमतों में कमी की जाएगी। इसका प्रस्ताव कार्यपरिषद में रखा जाएगा। करीब 10 प्रतिशत तक कीमतों में कमी आएगी। इससे मरीजों को काफी राहत मिलने की उम्मीद है। उन्होंने बताया कि 500 से ज्यादा तरह की खून की जांच की सुविधा केजीएमयू में उपलब्ध है।
इन पर भी लग सकती है मुहर
-दवाओं के लिए मरीजों को अधिक भटकना नहीं पड़ेगा। कैशलेस योजना में इलाज कराने वाले मरीजों को सभी दवाएं व उपकरण एचआरएफ काउंटर से मिलेंगी। कैशलेस योजना के अलावा अन्य रोगियों को मिलने वाली निशुल्क सुविधा व दवाओं की सूची हर विभाग को अलग से उपलब्ध कराने का प्रस्ताव है।
-मरीज के पर्चे के साथ ही उसकी फाइल सुरक्षित रखने की व्यवस्था शुरू होगी। यह व्यवस्था वैकल्पिक होगी। इसके एवज में मरीज को 50 रुपए फीस चुकानी होगी।
-केजीएमयू से संबद्ध सभी मेडिकल, नर्सिग और पैरामेडिकल संस्थानों को अटल विवि से संबद्ध करने का प्रस्ताव भी रखा जाएगा। इन्हें अटल बिहारी वाजपेई मेडिकल विश्वविद्यालय से जोड़ने की तैयारी है। इससे प्रदेश के सभी पैरामेडिकल व मेडिकल कॉलेज को एक ही विवि से डिग्री मिल सकेगी।