व्यापारियों को फोन कर प्रशिक्षण के लिए मांगे जा रहे 700 रुपए
लखीमपुर में खाद्य कारोबारियों को फास्टैग प्रशिक्षण देने के लिए तिवास इंटरनेशनल संस्था को नामित किया गया है। व्यापारियों से 700 रुपए जमा करने के लिए कहा जा रहा है। जिला खाद्य सुरक्षा अधिकारी ने इस पर...
लखीमपुर। खाद्य कारोबारियों को सरकार ने फास्टैग प्रशिक्षण देने के लिए एक संस्था नामित की है। खीरी जिले के व्यापारियों को प्रशिक्षण देने के लिए तिवास इंटरनेशनल संस्था को जिम्मेदारी दी गई है। संस्था के जिम्मेदार व्यापारियों को फोन करके ट्रेनिंग के लिए 700 रुपए जमा करने को कह रहे हैं। कुछ व्यापारियों का प्रशिक्षण भी हो चुका है। व्यापारियों ने इसकी जानकारी उत्तर प्रदेश उद्योग व्यापार मण्डल के पदाधिकारियों को दी। खास बात यह है कि संगठन के अध्यक्ष संजय गुप्ता को भी फोन किया गया। इसकी जानकारी होने पर जिला खाद्य सुरक्षा अधिकारी को हुई तो प्रशिक्षण के लिए नामित संस्था के प्रोजेक्ट मैनेजर से इस पर नाराजगी जताई। जिला खाद्य सुरक्षा अधिकारी बृजेन्द्र शर्मा ने बताया कि व्यापारियों को फास्टैग ट्रेनिंग के लिए शासन ने संस्था को नामित किया है। प्रशिक्षण का उद्देश्य व्यापारियों को फूड सेफ्टी के बारे में जागरूक करना है। हाईजीन के बारे में बताना है। संस्था के कर्मचारी व्यापारियों से सम्पर्क करके उनको प्रशिक्षण का समय व स्थान बताएंगे। प्रशिक्षण स्थल पर ही व्यापारियों से प्रशिक्षण का 700 रुपया ऑनलाइन जमा कराया जाना है। अगर संस्था का कोई कर्मचारी खुद को फूड इंस्पेक्टर, फूड विभाग का कर्मचारी बताकर पैसे की डिमांड करता है तो गलत है। उधर इस बारे में तिवास इंटनरेशनल संस्था के जिले के प्रोजेक्ट मैनेजर अमित अत्री ने बताया कि अब तक आठ प्रशिक्षण दिए जा चुके हैं। व्यापारियों से सम्पर्क करके उनको प्रशिक्षण के लिए बुलाया जाता है। व्यापार मण्डल के पदाधिकारियों से भी सम्पर्क किया जा रहा है। शासन के निर्देश पर यह प्रशिक्षण शुरू किया गया है।
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