भोर से शुरू हुई बूंदाबांदी ने बदला मौसम का मिजाज
Kausambi News - दिसंबर के आखिरी सप्ताह में मौसम अचानक बदल गया। बूंदाबांदी से ठंड बढ़ गई, जिससे लोग गर्म कपड़े और अलाव का सहारा लेने लगे। कोहरे के कारण सड़कें भी प्रभावित हुईं। किसानों ने बारिश को अपनी फसलों के लिए...
दिसंबर माह के आखिरी सप्ताह में मौसम का मिजाज शनिवार की भोर में बदल गया। जिलेभर में बूंदाबांदी होने से ठिठुरन बढ़ गई। अचानक ठंड बढ़ गई तो लोगों ने ब्लोवर, हीटर के साथ ही अलाव का सहारा लिया। गांवों में शाम को भी अलाव जलते रहे। इसके अलावा दोपहर तक कोहरे की धुंध छाई रहने से सड़कों पर आवाजाही थम गई। वहीं बूंदाबांदी से गेहूं, सरसों, चना, मटर, आलू आदि की फसलों के लिए मौसम को फायदेमंद बताया गया। किसानों के चेहरे खिले नजर आए। शनिवार की भोर में मौसम अचानक बदल गया। सुबह इलाके में देर तक कोहरा छाया रहा। जिले भर में बूंदाबांदी शुरू हो गई। दोपहर तक बूंदाबांदी का दौर जारी रहा। इससे अचानक ठंड बढ़ गई और लोग गर्म कपड़ों से ढके नजर आए। इतना ही नहीं घरों लोगों ने अलाव, हीटर व ब्लोवर का सहारा लिया। गांवों से लेकर नगरों में सार्वजनिक स्थानों पर लोग अलाव के आगे बैठे रहे। पूरे दिन मौसम का यही हाल रहा। सूर्यदेव के दर्शन नहीं हुए। बादलों के छाए रहने से दोबारा बारिश की उम्मीद जताई जाती रही। वहीं बारिश होने पर खेतों में बोई गई गेहूं, सरसों, चना, मटर व आलू की खेती लहलहाने लगी। फसलों की बढ़ी रौनक देख किसानों के चेहरों पर खुशी साफ झलक रही थी। माना जा रहा है कि बारिश की बूंदे पड़ने व ठंड बढ़ने से सबसे अधिक फायदा गेहूं को होगा। क्षेत्र के किसानों ने कहा कि यह मौसम फसलों के लिए संजीवनी से कम नहीं है।
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