मनरेगा : मजदूरों को नहीं मिल रहा काम
कोरोना महामारी के बीच मजदूरों के सामने रोजी-रोटी का संकट है। काम न मिलने से मजदूर परेशान हैं। मनरेगा से प्रधानमंत्री आवास व मुख्यमंत्री आवास योजना...
कोरोना महामारी के बीच मजदूरों के सामने रोजी-रोटी का संकट है। काम न मिलने से मजदूर परेशान हैं। मनरेगा से प्रधानमंत्री आवास व मुख्यमंत्री आवास योजना के हजारों मजदूरों को मनरेगा से काम मिलना था। मजदूरों को इस योजना के तहत काम नहीं दिया जा रहा है। इससे मजदूर परेशान हैं। समीक्षा बैठक में 34 फीसदी प्रगति सामने आई है। इस पर परियोजना निदेशक ने बीडीओ से नाराजगी जाहिर की है।
कोरोना महामारी में सबसे ज्यादा परेशानी दिहाड़ी मजदूरों को उठानी पड़ रही है। काम न मिलने से मजदूर परेशान हैं। रोटी-रोटी का संकट सामने खड़ा हो गया है। गेंहू की कटाई बंद हो चुकी है। अब मजदूर काम तलाश रहे हैं, लेकिन काम मिल नहीं रहा। मजदूरों की आर्थिक हालत खराब है। मजदूरों को काम मिलता रहे, इसके लिए शासन ने निर्देश जारी किया था कि प्रधानमंत्री आवास व मुख्यमंत्री आवास योजना के लाभार्थियों को मनरेगा से काम दिया जाए। मनरेगा के तहत इनको 90 दिवस का कार्य देना था, लेकिन इनको इस योजना का लाभ नहीं मिल रहा है। हजारों मजदूर घर बैठे हैं। वह काम मिलने का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन ब्लॉक स्तर से कोई पहल नहीं हो रही है। इससे मजदूरों में नाराजगी भी है। परियोजना निदेशक लक्ष्मण प्रसाद ने समीक्षा की तो मात्र 34 फीसदी की प्रगति ही सामने आई। इस पर पीडी ने नाराजगी जाहिर की है। पीडी ने सभी बीडीओ को निर्देश दिया है कि सभी लाभार्थियों को दिया जाए जाए। प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री आवास योजना के कुल 9788 लाभार्थी हैं। इनमें पीएम आवास योजना के 9079 और मुख्यमंत्री आवास योजना के 709 लाभार्थ हैं। इन्हीं लाभार्थियों को मनरेगा से काम दिया जाना है।