हक और हितों को लेकर शिक्षकों ने उठाई आवाज
उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ की बैठक में शिक्षकों की लंबित समस्याओं के समाधान की मांग उठाई गई। ज्ञापन में विभागीय भ्रष्टाचार और नकारात्मक दृष्टिकोण की आलोचना की गई। शिक्षकों की सेवाएं खतरे में...
उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ की बैठक में विभिन्न समस्याओं को जोरशोर से उठाया गया। बाद में मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन भेजा गया। इसमें अशासकीय माध्यमिक विद्यालयों में कार्यरत शिक्षकों की लंबित समस्याओं के समाधान की मांग की गई। जिलाध्यक्ष विधानचंद्र द्विवेदी ने कहा कि शिक्षक समस्याओं के समाधान के लिए कोई सार्थक और सकारात्मक प्रयास नहीं हो रहे हैं। इससे मध्यमिक शिक्षकों में भारी निराशा और आक्रोश व्याप्त है। विभागीय भ्रष्टाचार में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। शिक्षकों के प्रति नकारात्मक दृष्टिकोण अपनाया जा रहा है। इससे शिक्षकों का सरकार के प्रति मोह भंग होता जा रहा है।
शिक्षक नेताओं ने कहा कि हजारों की संख्या में कार्यरत तदर्थ शिक्षकों की सेवाएं शिक्षा विभाग की हठधर्मिता के कारण खतरे में पड़ गई हैं। शिक्षकों के भविष्य और सेवा के प्रति निर्मम दृष्टिकोण से प्रदेश का शिक्षक अत्यंत दुखी और आक्रोशित है। जिलाध्यक्ष ने कहा कि माध्यमिक विद्यालयों के प्रधानाचार्य, प्रधानाध्यापकों की तदर्थ पदोन्नति एवं स्नातक वेतन क्रम में प्रवक्ता वेतन क्रम में पदोन्नति संबंधित व्यवस्था पुर्नस्थापित हो। माध्यमिक विद्यालयों में समायोजन की प्रक्रिया तत्काल रोकी जाए। इस मौक पर जिला मंत्री आलोक कुमार सिंह, कोषाध्यक्ष नीरज यादव आदि मौजूद रहे।
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।