पहले दिन इंतजार करते रहे क्रय केन्द्र प्रभारी
धान क्रय केन्द्रों पर खरीद की तैयारी पूर्ण, धान खरीद के प्रथम दिन इंतजार करते रहे क्रय केन्द्र प्रभारी मेजा। तहसील क्षेत्र के विभिन्न धान क्रय...
तहसील क्षेत्र के विभिन्न धान क्रय केन्द्रों पर खरीद के पहले दिन धान लेकर कोई किसान नहीं पहुंच सका, ऐसी दशा में क्रय केन्द्रों के प्रभारी किसानों के पहुंचने का इंतजार करने के बाद घर को लौट गए। विपणन निरीक्षक मेजारोड विनोद कुमार सिंह ने बताया कि तहसील क्षेत्र में विपणन शाखा के छह धान क्रय केन्द्र बनाए गए हैं, इनमें मेजारोड, मेजा खास, चपरतला, मांडा, पथरा व बजहा हैं। बताया कि विभाग की ओर से 346 गांठ बोरे उपलब्ध हैं, प्रति गांठ पांच सौ बोरे होते हैं। धान कांटा भी स्थापित हो चुका है। सारी तैयारी पूर्ण हो चुकी है। विपणन निरीक्षक ने बताया कि विपणन शाखा के अलावा यूपी एस एस, यूपी पी सी यू, टी पी एस के कुल 27 धान क्रय केन्द्रों के माध्यम से धान की खरीद की जानी है। किसान को क्रय केन्द्र पर किसी प्रकार की दिक्कत न हो, इसका पूरा खयाल रखा गया है। मानक के अनुसार धान की खरीद का कार्य किया जाएगा।
तहसील क्षेत्र के अधिकांश किसानों ने हाईब्रिड धान अपने खेतों में लगा रखा है। इसलिए एक बार फिर किसानों को धान क्रय केन्द्रों पर यह धान बेचने में दिक्कते हो सकती हैं। हाईब्रिड धान का चावल पतला व लंबा होता है, जिसे मिलर लेने से इंकार कर जाते हैं, चूंकि हाई ब्रिड धान में चावल की रिकबरी 62 से 63 फीसदी हो पाती है, जबकि क्रय केन्द्रों पर खरीदे जाने वाले धान में चावल की रिकबरी का मानक 67 फीसदी से कम नहीं होना चाहिए। ऐसी दशा में क्रय केन्द्रों पर हाई ब्रिड धान का लिया जाना मुश्किल होगा। सूत्रों की मानें तो पिछले वर्ष मेजा के अधिकांश किसानों ने हाई ब्रिड धान निर्धारित समर्थन मूल्य से कम रेट आढ़तियों के हांथ बेंच दिया था, हालांकि इसके बावजूद धान क्रय केन्द्रों पर किसानों की लाइन लगी रही। बकूचन्दा गांव के किसान बालकृष्ण तिवारी ने बताया कि तहसील क्षेत्र के किसान अधिक धान की पैदावार लेने के चक्कर में हाई ब्रिड धान की फसल लगाते हैं। सरकारी बीज गोदामों पर किसानों को बुआई के समय हाई ब्रिड दिया जाता है।
