जेल रोड ध्वस्त बलखाते निकलते वाहन
भले ही प्रदेश सरकार सड़कों को नवरात्रि के त्योहार से पहले गड्ढ़ा मुक्त करने की घोषणा कर रही हो। लेकिन पीडब्लूडी के पास बजट के अभाव का रटा रटाया जुमला रहता है। जिससे शहर को जीटी रोड़ से जोड़ने वाली...
भले ही प्रदेश सरकार सड़कों को नवरात्रि के त्योहार से पहले गड्ढ़ा मुक्त करने की घोषणा कर रही हो। लेकिन पीडब्लूडी के पास बजट के अभाव का रटा रटाया जुमला रहता है। जिससे शहर को जीटी रोड़ से जोड़ने वाली सड़के गड्ढ़ा युक्त ही है। आलम यह है कि अधिकारियों के नाक के नीचे ही गड्ढे वाली सड़क स्थित है। इसके साथ ही इस मार्ग से निकलने वाले वाहन बलखाते हुए निकलते है।
कोरोना काल के बाद आयोजित होने वाले समाधान दिवस के दौरान कहने को जिले के बड़े अधिकारी तहसील में समस्याएं सुन रहे थे। लेकिन तहसील गेट के सामने की गड्ढ़ा युक्त सड़क के लिए कोई समाधान नहीं निकल सका। इसी प्रकार जेल के सामने व जेल चौकी के सामने के साथ ही बांदा को जोड़ने वाली इस सड़क में दर्जनों स्थानों पर बड़े-बड़े गड्ढ़े स्थित है। जहां से वाहनों को धीमी गति से निकालना पड़ता है। इसके साथ ही वाहनों से उड़ने वाली धूल की वजह से जेल प्रशासन व चौकी पुलिस द्वारा उससे बचने के लिए प्रतिदिन हजारों लीटर पानी का छिड़काव करना पड़ता है। लोगों का कहना है कि यदि इस मार्ग को सूखा छोड़ दिया जाए तो एक सप्ताह के अंदर लोग दमा जैसी खतरनाक बीमारी का शिकार होने लगेंगे। उधर बीते माहों प्रदेश सरकार के मंत्री के दौरे को लेकर इस मार्ग का पैचिंग का काम पीडब्लूडी द्वारा कराया गया। लेकिन मानक को बला-ए-ताक पर रखकर कराया गया काम महज मंत्री जी के प्रवास तक ही चल सका जिसके बाद वाहनों के बड़ी संख्या में आवागमन के चलते यह मार्ग फिर से दयनीय स्थित में पहुंच चुका है। बीते दिनों प्रदेश सरकार ने नवरात्रि पर्व के पहले सड़कों को गड्ढ़ा मुक्त कराए जाने के निर्देश दिए है, लेकिन अधिकारी इसका पालन कराए जाने में बजट का रोना रो रहे है।