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पैदल घर के लिए निकले मजदूरों के छलके आंसू

पैदल घर के लिए निकले मजदूरों के छलके आंसू

पैदल घर के लिए निकले मजदूरों के छलके आंसू
हिन्दुस्तान टीम,फर्रुखाबाद कन्नौजWed, 06 May 2020 10:48 PM
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लॉकडाउन में प्रवासी मजदूरों का दर्द किसी से छूपा नहीं है। 8 दिन पहले हरियाणा व फरीदाबाद से पैदल चले मजदूरों को कही पानी नसीब हुआ तो किसी गांव के लोगो ने रोटी खिला दी। नौकरी भी छूट गई । अब घर का ही आसरा बचा है। लॉकडाउन में सरकार प्रवासी मजदूरों को लाने के लिए बस व टे्रनों से इंतजाम करा रही है लेकिन कई मजदूर ऐसे है जो अभी भी पैदल ही रास्ता अख्तियार कर रहे हैं। आठ दिन पहले हरियाणा से पैदल चले 12 मजदूर 7 जनपदों से अधिक बॉर्डर को पार कर कायमगंज पहुंचे। फरीदाबाद से चले सात मजदूर हरदोई जाने के लिए कायमगंज पहुंचे। इतना थक गए कि एक ओर छांव में लेट गए। रास्ते की परेशानिया बताते बताते उनके आंसू छलक आए। बोले कही पानी पीकर रास्ता गुजरा तो किसी ने रोटी दे दी। यहां की पुलिस ने उन्हें केले खिलाए। उसके बाद वह रवाना हो गए।

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