पांच हजार छात्रों का लटक सकता है वजीफा
शासन स्तर से प्रत्येक छात्रों को वजीफा दिए जाने पर भले ही गंभीरता दिखाई जा रही है मगर यहां जिला स्तर पर महाविद्यालयों ने जिस प्रकार लापरवाही की है उसमें पांच हजार छात्रों का वजीफा लटक सकता है। सोमवार...
शासन स्तर से प्रत्येक छात्रों को वजीफा दिए जाने पर भले ही गंभीरता दिखाई जा रही है मगर यहां जिला स्तर पर महाविद्यालयों ने जिस प्रकार लापरवाही की है उसमें पांच हजार छात्रों का वजीफा लटक सकता है। सोमवार को अंतिम तिथि होने पर भी महाविद्यालयों के स्तर पर छात्रों के डाटा को रिसीव करने के बाद भी उस फारवर्ड करने का काम नहीं किया गया। ऐसी स्थिति में अब लापरवाह विद्यालयों के खिलाफ कार्रवाई की संस्तुति की जाएगी। समाज कल्याण अधिकारी ने इस लापरवाही पर डीआईओएस को भी पत्र लिखा है।
छात्रों के वजीफा के लिए शासन स्तर से इस बार अंतिम तिथि में इजाफा किया गया जिससे कोई छात्र वजीफा से वंचित न रहने पाए। इसके बाद भी महाविद्यालयों ने छात्रों के वजीफा को लेकर जो लापरवाही की है उससे छात्रों को वजीफा से वंचित रहना पड़ सकता है। समाज कल्याण विभाग ने डाटा का अवलोकन किया तो इसमें पाया गया डिग्री कालेज के करीब पांच हजार छात्रों का डाटा पेंडिंग पड़ा है। सोमवार को अंतिम तिथि तक डाटा को फारवर्ड करना आवश्यक था इसके बाद भी विद्यालयों ने इसमें घोर लापरवाही की है। महाविद्यालय स्तर पर छात्रों के आवेदन को रिसीव तो कर लिया गया है फिर इसमें फारवर्ड करने में रूचि नहीं दिखाई गई। डीएम ने पूर्व में ही बैठक लेकर सभी महाविद्यालय और इंटर कालेज के प्रधानाध्यापकेां को निर्देश दिए थे कि वजीफा और शुल्क प्रतिपूर्ति में लापरवाही न हो। डीएम के निर्देशों के बाद भी महाविद्यालय ने कोई भी सतर्कता नहीं दिखाई। समाज कल्याण अधिकारी राजेशबघेल ने बताया कि महाविद्यालय स्तर से छात्रों के डाटा को फारवर्ड न करके घोर लापरवाही की गई है। इसको लेकर डीआईओएस को पत्र लिखकर जानकारी दे दी गई है। उन्होंने बताया कि ऐसे सभी महाविद्यालय चिन्हित कर लिए गए हैं और इनके खिलाफ कार्रवाई के लिए लिखा जाएगा। उन्होंने बताया कि इस मामले में डीएम को भी जानकारी दी जाएगी। जिससे कि संबंधित विद्यालयों के खिलाफ कार्रवाई कराई जा सके।