ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News उत्तर प्रदेश एटा...मैं अपने दिल के हर गोसे में हिन्दुस्तान रखता हूँ

...मैं अपने दिल के हर गोसे में हिन्दुस्तान रखता हूँ

राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन हुआ। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर एवं शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल एवं शेरओ-शायरी...

राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन हुआ। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर एवं शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल एवं शेरओ-शायरी...
1/ 3राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन हुआ। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर एवं शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल एवं शेरओ-शायरी...
राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन हुआ। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर एवं शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल एवं शेरओ-शायरी...
2/ 3राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन हुआ। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर एवं शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल एवं शेरओ-शायरी...
राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन हुआ। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर एवं शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल एवं शेरओ-शायरी...
3/ 3राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन हुआ। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर एवं शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल एवं शेरओ-शायरी...
हिन्दुस्तान टीम,एटाSat, 18 Jan 2020 10:34 PM
ऐप पर पढ़ें

राजकीय जिला कृषि एवं औद्योगिक विकास प्रदर्शनी पंडाल में शुक्रवार रात को अखिल भारतीय मुशायरा का आयोजन किया गया। इसमें हिन्दुस्तान के कई राज्यों से आए शायर शायरात ने प्रतिभाग कर अपनी गजल और शायरी सुनाकर जमकर वाहवाही लूटी। देर शाम शुरू हुआ कार्यक्रम सुबह चार बजे तक चला।

मुशायरे में सबसे पहले शायर डा. राही निजामी ने कहा कि जहां हिन्दू मुसलमा प्यार से मिलजुल के रहते हैं, उसे हम फखरिया लहजे में हिन्दुस्तान कहते हैं। प्रख्यात शायर की इस शायरी ने हिन्दू, मुस्लिम भाईचारे की मिसाल पेश की। शायर वाहिद अंसारी ने उर्दू तहज़ीब को सलाम करते हुए कहा कि सूरज के आसपास न चंदा के आसपास, जो रोशनी है गुंबदे खजरा के आसपास। इस शेर को सुन दर्शकों ने जमकर तालियां बजाईं। मुशायरे में आए सबसे कम उम्र के शायर तालिब लईक ने कहा कि मैं छोटा हूं तो क्या हुआ बड़े अरमान रखता हूं, मैं अपने दिल के हर गोसे में हिन्दुस्तान रखता हूं। इसको सुन दर्शकों सहित मंच पर उपस्थित शायर एवं शायरात ने जमकर तालियां बजा गुलपोशी की। शायर सलीम ताबिस ने शायरी पेश की कि हमें जीना सिखाया शान से मरना सिखाया है, बुजुर्गों ने बुजुर्गों का अदब करना सिखाया है। इसके बाद शायर अरशद ज़िया ने कहा कि मैं पूछता फिरता हूं इस इस दौर के बच्चों से, इक चीज मोहब्बत थी वह तुमने कहां रख दी। शायर हाशिम फिरोजाबादी ने गजल कही कि ऐ खाके वतन तेरे निगेहबान बहुत हैं, भारत की हिफाजत को मुसलमान बहुत हैं। इसके बाद शायरात जीनत मुरादाबादी ने कहा कि नजर से टूट गया फिर नजर नहीं आया, तमाम उम्र सदा दी मगर नहीं आया। शायरात नूरी परवीन ने गजल पेश की कि कहां देखू कहां पर मैं न देखूं तेरी तेरी तस्वीर हर दीवार पर है। शायर अनवर अमान ने गजल पेश की कि क्या मैं समझा था और क्या निकला वह मेरा दोस्त बेवफा निकला। इसके बाद मुशायरे में उपस्थित शायर वाहिद अंसारी, अल्ताफ जिया, जमील खैराबादी, सज्जाद झंझट, नूर धौलपुरी, अना देहलवी, नूरी परवीन आदि शायरों से सुबह छह बजे तक समां बांधे रखा। कार्यक्रम संयोजक कशिश एटवी ने शायरी सुनाई कि खताओं पर शर्मिंदा नहीं है मेरी नजरों में वह जिंदा नहीं है। कार्यक्रम के अंत में शायर अजीज फारुखी ने गज़ल पेश की कि हम वक्त के मारे हैं, क्या बात हमारी है, अब दौर तुम्हारा है हर बात तुम्हारी है। मुशायरे का शुभारंभ एसडीएम सदर अबुल कलाम एवं जिलाक्रीड़ा अधिकारी सिराजुदद्दीन ने किया। कार्यक्रम संयोजक, संचालक हाजी कशिश एटवी एवं सह संयोजक डा. विकास सक्सेना ने मुख्य अतिथियों एवं सभी शायर, शायरात को बैज लगा एवं गुलपोशी कर सम्मानित किया। इस अवसर पर विक्रांत माधौरिया, मेधाव्रत शास्त्री, जीशान कुरैशी, फरमान कुरैशी, इं.नूर मोहम्मद, कफील अहमद आदि सैकड़ों लोग मौजूद रहे।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें