ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News उत्तर प्रदेश देवरियास्पाइनल मस्कूलर एट्रापी बीमारी से जूझ रहा है देवरिया का एक मासूम, इलाज को चाहिए 22 करोड़  

स्पाइनल मस्कूलर एट्रापी बीमारी से जूझ रहा है देवरिया का एक मासूम, इलाज को चाहिए 22 करोड़  

देवरिया का एक मामूम दुर्लभ स्पाइनल मस्कुलर एट्रापी नामक बीमारी से जूझ रहा है। बच्चे के इलाज को लगने वाले इंजेक्शन की कीमत  22 करोड़ रुपये है और यह सिर्फ अमेरिका में ही मिलता है। सरकार अगर जीएसटी...

स्पाइनल मस्कूलर एट्रापी बीमारी से जूझ रहा है देवरिया का एक मासूम, इलाज को चाहिए 22 करोड़  
हिन्‍दुस्‍तान टीम ,देवरिया Wed, 31 Mar 2021 07:37 PM
ऐप पर पढ़ें

देवरिया का एक मामूम दुर्लभ स्पाइनल मस्कुलर एट्रापी नामक बीमारी से जूझ रहा है। बच्चे के इलाज को लगने वाले इंजेक्शन की कीमत  22 करोड़ रुपये है और यह सिर्फ अमेरिका में ही मिलता है। सरकार अगर जीएसटी को माफ भी कर देती है तब भी मासूम को बचाने को 16 करोड़ रूपये की जरूरत पड़ेगी। मासूम के परिजनों की गुहार पर उसकी जान बचाने को एक फण्ड रेजर संस्था ने सोशल मीडिया के माध्यम से क्राउड फंडिंग शुरू किया है।

शहर के न्यू कालोनी निवासी कृष्ण शंकर गुप्ता के बेटे मोहित गुप्ता एटा जिले में बिजली विभाग में सहायक अभियंता पद पर तैनात हैं। उनकी दो साल साल पहले न्यू कालोनी के प्रियंका गुप्ता से शादी हुई। प्रियंका ने पिछले साल 5 दिसंबर को शहर के एक निजी नर्सिंग होम में बच्चे को जन्म दिया और उसका नाम कवि रखा गया। जन्म के बाद मासमू कवि के पैर में कोई मूवमेंट नहीं होने पर उसे शहर दो बाल रोग विशेषज्ञों तथा गोरखपुर के तीन डाक्टरों को दिखाया गया। डाक्टरों ने मासूम के स्पाइनल मस्कुलर एट्रापी नामक दुर्लभ बीमारी से ग्रसित बताया और दिल्ली के सर गंगाराम अस्पताल में दिखाने की सलाह दी। बच्चे को 23 फरवरी को सर गंगाराम अस्पताल के न्यूरो के विशेषज्ञ डाक्टर प्रवीण कुमार व डा. रजत दुआ पूरी से दिखाया गया। उन्होने कई तरह की जांच कराने के बाद चार माह के बच्चे को स्पाइनल मस्कुलर एट्रापी नामक बीमारी से ग्रसित होने की पुष्टि की।

उन्होंने बताया कि इसका इलाज सिर्फ अमेरिका में उपलब्ध हैं। बच्चे को लगने वाले इंजेक्शन की कीमत 22 करोड़ रुपये है। सरकार इजेक्शन मंगाने में अगर जीएसटी में छूट प्रदान करती है तब भी 16 करोड़ रुपये का खर्च आयेगा। यह सुनते ही कवि के माता-पिता के होश उड़ गये। बाद में उन्हे पता चला कि कुछ माह पहले इसी बीमारी से पीड़ित मुंबई के एक बच्चे को इंजेक्शन मंगाने को क्राउड फंडिंग से पैसे का इंतजाम किया गया। उन्होंने 16 करोड़ रुपया जुटाने को फण्ड रेजर संस्था इंपेक्ट गुरू से संपर्क किया। परिजनों ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से भी मिलकर बच्चे की जान बचाने को पैसे के इंतजाम में मदद की गुहार लगायी। संस्था ने सोशल मीडिया के माध्यम से क्राउड फंडिंग से पैसा जुटाने का अभियान शुरू किया। इसमें कवि के माता-पिता उसकी जान बचाने को आम जन तथा प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री से मदद मांगी है। बुधवार तक लगभग 7 लाख रुपया मासूम कवि गुप्ता के खाते में आ गया था।

यह है बीमारी का लक्षण

जो बच्चे स्पाइनल मस्कुलर एट्रापी बीमारी से पीड़ित होते हैं,उनकी मांसपेशियां कमजोर होती हैं। शरीर में पानी की कमी होने लगती है और स्तनपान करने व सांस लेने में दिक्कत होती है। धीरे-धीरे मांसपेशियां इतनी कमजोर हो जाती हैं कि वह हिलने-डुलने लायक भी नहीं रहता है। बाद में कमजोर होने से बच्चा इतना अक्षम हो जाता है कि उसे सांस लेने को वेंटिलेटर की जरूरत पड़ जाती है। लंबे समय तक वेंटिलेर पर रखने से ट्यूब में संक्रमण फैलने का खतरा पैदा हो जाता है। तंत्रिका तंत्र कार्य नहीं करने तथा प्रोटीन निर्माण बाधित होने से तंत्रिकायें नष्ट हो जाती हैं और मांसपेशियां खराब हो जाती हैं। ऐसेे मेें बच्‍चे की मौत तक हो सकती है।

 

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें