रक्तदान से बचाई जा सकती हैं जिंदगियां
परिवर्तन सेवा समिति व एचडीएफसी बैंक के ओर गुरुवार को राष्ट्रीय एकता दिवस पर केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल चंधासी परिसर में रक्तदान शिविर व गोष्ठी का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि सीआरपीएफ के डीआईजी जे...
परिवर्तन सेवा समिति व एचडीएफसी बैंक के ओर गुरुवार को राष्ट्रीय एकता दिवस पर केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल चंधासी परिसर में रक्तदान शिविर व गोष्ठी का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि सीआरपीएफ के डीआईजी जे राजेंद्रन ने फीता काटकर शुभारंभ किया। शिविर में 20 जवानों ने स्वैच्छिक रक्तदान किया।
डीआईजी जे राजेंद्रन व कमांडेंट रामलखन राम ने कहा कि रक्तदान जीवनदान है। रक्तदान से कई जिंदगियां बचाई जा सकती है। इस बात का अहसास हमें तब होता है, जब हमारा कोई अपना खून के लिए जिंदगी और मौत के बीच जूझता है। समिति अध्यक्ष चंद्रेश्वर जायसवाल ने कहा कि भारत में हर वर्ष लगभग 30-35 प्रतिशत रक्त की कमी का सामना करना पड़ता है। देश को प्रति वर्ष आठ से दस मिलियन यूनिट रक्त की जरूरत होती है। लेकिन मुश्किल से 5.5 मिलियन यूनिट का ही प्रबंध हो पाता है। भारत में रक्तदान की कमी काफी हद तक गलत सोच और मिथक की वजह है। इस मौके पर सीआरपीएफ कमानडेंट राजीव कुमार, एके सिंह, एचडीएफसी बैंक से मनोज सिंह, समिति संरक्षक जितेंद्र सिंह, सचिव प्रभाकर सिंह, अंकित त्रिपाठी, संदीप सिंह, एस फाज़िल आदि उपस्थित रहे।