बैंक हड़ताल से करोड़ों का लेन-देन रहा ठप
वेतन वृद्धि और सेवा शर्तोें में सुधार की मांग के समर्थन में गुरुवार को दूसरे दिन भी बैंकों में हड़ताल रहा। बैंक कर्मियों ने ताला बंद कर शासन के खिलाफ नारेबाजी कर विरोध जताया। बैंकों दो दिवसीय बंदी से...
वेतन वृद्धि और सेवा शर्तोें में सुधार की मांग के समर्थन में गुरुवार को दूसरे दिन भी बैंकों में हड़ताल रहा। बैंक कर्मियों ने ताला बंद कर शासन के खिलाफ नारेबाजी कर विरोध जताया। बैंकों दो दिवसीय बंदी से जिले में लगभग 400 करोड़ का लेन-देन प्रभावित हुआ। बैंकों में हड़ताल की वजह से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा। पूरे दिन एटीएम बूथों पर कैश निकलने वालों की भीड़ देखने को मिली।
यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन के आह्वान पर नौ कर्मचारी संगठनों व चार आफिसर्स यूनियन दो दिवसीय हड़ताल में शामिल रही। शहर से लेकर कस्बा व गांवों में भी बैंक शाखाओं में पूरे दिन ताला लटका रहा। महीने के अंतिम दिन में बैंक हड़ताल से कइयों का चेक क्लीयरेंश नहीं हो सका। वहीं पेंशनधारी और वेतनभोगियों की भी मुसीबत बढ़ गई। आटो रिलीज फंड सहित सभी सुविधाएं ठप रही। इससे वेतनभोगियों और पेंशनधारियों के खाते में भी पेंशन व सैलरी का भुगतान नहीं हो पाया। बैंकों के हड़ताल की वजह से आमजन से लेकर व्यापारी तक परेशान दिखे। लोगों को कैश के लिए एटीएम का चक्कर लगाना पड़ा।
शहर में एटीएम की स्थिति तो कुछ हद तक ठीक रही। लेकिन ग्रामीण इलाके के अधिकांश एटीएम कैश की कमी व तकनीकी खराबी से बंद रहे। उधर, आंदोलनरत बैंक कर्मियों ने आरोप लगाया कि वेतन पुनरीक्षण के मांग पत्र हल करने में आईबीए विलंब कर रही है। सरकार की ओर से मात्र 2 प्रतिशत वृद्धि की बात कही जा रही है। कई बार धरना प्रदर्शन व काली पट्टी बांधकर विरोध प्रदर्शन किया जा चुका है। इसके बाद भी शासन की ओर से बैंक कर्मियों की मांगों को पूरा नहीं किया जा रहा है।