पॉटरी उत्पादों पर अब 12 से घटकर 5 प्रतिशत जीएसटी, उद्यमियों में खुशी की लहर
Bulandsehar News - फोटो 101 की सीरीज--पॉटरी उत्पादों पर अब 12 से घटकर 5 प्रतिशत जीएसटी, उद्यमियों में खुशी की लहरपॉटरी उत्पादों पर अब 12 से घटकर 5 प्रतिशत जीएसटी, उद्यमि

जीएसटी काउंसिल की ओर से लिए गए फैसले से पॉटरी उद्यमी खुश हैं। पॉटरी उद्योग पर लगने लगनी वाली जीएसटी 12 प्रतिशत से घटकर 5 प्रतिशत हो गई है। उद्यमियों के अनुसार अब कारोबार में वृद्धि होगी। साथ ही खुर्जा में बंद पॉटरी इकाइयों के पुनः शुरू होने की संभावना है। पॉटरी उत्पादों पर 12 प्रतिशत की जीएसटी लगती है। इसके चलते पॉटरी उत्पाद महंगा हो जाता है। पॉटरी उत्पाद में एक स्थान से दूसरे स्थान पर पहुंचने के दौरान टूट फूट भी हो जाती है। जिसका नुकसान उद्यमियों को झेलना पड़ता है। अब जीएसटी स्लैब में हुए बदलाव में पॉटरी उत्पाद पर 5 प्रतिशत जीएसटी लगेगी, जिससे उद्यमियों के बीच खुशी है।
ओडीओपी में चयनित पॉटरी के लिए जीएसटी दर घटना हुआ वरदान साबित खुर्जा की पॉटरी वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट(ओडीओपी) में शामिल है। यहां पर ट्रंप के 50 प्रतिशत हुए टैरिफ से उद्यमी परेशान थे। अब जीएसटी दर के 12 से 5 प्रतिशत होने से उद्यमियों के बीच खुशी है। यह ओडीओपी के लिए एक वरदान साबित हो सकता है। यहां पर पिछले कई माह से बंद पड़ी पॉटरी इकाइयों के पुनः शुरू होने की संभावना है। पैकिंग बॉक्स पर भी घटी जीएसटी पॉटरी उत्पादों के साथ साथ जीएसटी दर पैकिंग बॉक्स पर भी घट गई है। पैकिंग बॉक्स पर 12 प्रतिशत लगने वाली जीएसटी अब 5 प्रतिशत लगेगी। जिससे उद्यमियों को सीधा लाभ मिलेगा। खुर्जा से उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों सहित दिल्ली, गुड़गांव, हरियाणा, गुजरात, महाराष्ट्र आदि स्थानों पर पॉटरी जाती है। जिसके लिए पॉटरी उत्पादों को पैक करना पड़ता है। पॉटरी उत्पादों के साथ साथ पैकिंग बॉक्स पर जीएसटी घटने से उद्यमियों के बीच खुशी है। अब उद्यमी अच्छा लाभ प्राप्त कर सकेंगे। बढ़ेगा पॉटरी कारोबार, तो कारीगरों को मिलेगा रोजगार जीएसटी की दर घटने से पॉटरी उत्पादों की मांग बढ़ेगी। जिससे पॉटरी उत्पादन ज्यादा होगा। वहीं बंद पड़ी पुरानी पॉटरियों का भी पुनः संचालन होगा। इससे पॉटरी कारोबार में वृद्धि होगी। साथ ही कारीगरों को अधिक काम मिलेगा। परिणामस्वरूम रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। टूट फूट होने पर भी कम होगा नुकसान हाल फिलहाल में पॉटरी उत्पादों पर 12 प्रतिशत की जीएसटी लगती है। खुर्जा से विभिन्न स्थानों पर जाने वाले पॉटरी उत्पाद टूट जाते हैं। जिसके बाद उक्त टूटे उत्पादों के नुकसान की भरपाई उद्यमियों को करनी पड़ती है। इसमें उत्पाद पर लगे जीएसटी को पुनः देना पड़ता है। अब जीएसटी कम होने पर पॉटरी उत्पादों के टूटफूट होने पर भी नुकसना कम होगा। खुर्जा में करीब 300 से अधिक पॉटरी इकाइयां खुर्जा क्षेत्र में करीब 300 से अधिक पॉटरी इकाइयां हैं। अधिक जीएसटी होने से कम लाभ प्राप्त होने पर कुछ पॉटरी इकाइयां बंद हो गईं थीं। अब जीएसटी दर 12 से घटकर 5 प्रतिशत हो गई है। जिसके चलते बंद पड़ी पॉटरी के संचालक पुनः पॉटरी शुरू करने का प्रयास कर रहे हैं। ऑर्डर मिलने हुए शुरू, हुई बढ़ोतरी उद्यमियों के अनुसार पूर्व में 12 प्रतिशत जीएसटी के दौरान कम लाभ प्राप्त होने पर कुछ खरीदारों ने आर्डर देने बंद कर दिए थे। अब उनके ऑर्डर मिलने शुरू हो गए हैं। ऑर्डर में बढ़ोतरी हो रही है। इससे यह कहा जा सकता है कि जीएसटी दर कम होने पर पॉटरी उद्योग गति पकड़ेगा। यह बनता है पॉटरी उत्पाद खुर्जा में कप प्लेट, डिनर सेट, सूप सेट, सजावटी उत्पाद, पूजन पॉटरी उत्पाद आदि बनाते हैं। खुर्जा से देश ही नहीं विदेशों में भी पॉटरी उत्पाद पहुंचते हैं। जीएसटी कम होने की घोषणा से ही उद्यमियों को लाभ मिलना शुरू हो गया है। ऑर्डर मिलने शुरू हुए हैं। नई जीएसटी दर लागू होते ही पॉटरी उत्पाद खरीदारों तक पहुंचने लगेंगे। कोट: जनप्रतिनिधियों से कई बार जीएसटी दर को 12 से 5 प्रतिशत कराने की मांग रखी गई थी। सरकार की ओर से एक जिला एक उत्पाद में चयनित खुर्जा की पॉटरी पर पांच प्रतिशत जीएसटी करने का फैसला लिया गया है। अब उद्यमियों को इसका सीधा लाभ मिलेगा। उद्यमियों के बीच खुशी का माहौल है। -रवि राणा अध्यक्ष, केपीएमए पॉटरी उत्पादों के साथ साथ पैकिंग बॉक्स पर भी 12 से घटकर 5 प्रतिशत जीएसटी हुई है। इससे उद्यमियों को अच्छा लाभ मिलेगा। बंद पड़ी कई पॉटरी इकाइयां भी पुनः शुरू हो सकती हैं। -अनुज गोयल, पॉटरी उद्यमी उद्यमियों के हित में सरकार लगातार प्रयास कर रही है। केंद्र सरकार की ओर से लिए गए पॉटरी उत्पादों पर जीएसटी कम होने के फैसले से उद्यमियों के बीच खुशी है। -राजीव बंसल, पॉटरी उद्यमी सरकार की ओर से लिया गया 12 प्रतिशत से 5 प्रतिशत जीएसटी को कम करने का फैसला अच्छा है। इससे उद्यमियों को लाभ मिलने लगा है। ऑर्डर मिलने में बढ़ोतरी हुई हैं। जीएसटी के कम होने से पॉटरी उद्योग गति पकड़ेगा। -निखिल पोद्दार, पूर्व सचिव, केपीएमए कोट: सरकार की ओर से निरंतर उद्यमियों के लिए सार्थक प्रयास किए जा रहे हैं। इसके क्रमबद्ध पॉटरी उत्पादों पर जीएसटी दर कम होना भी है। इससे उद्यमियों को सीधा लाभ मिलेगा। -मीनाक्षी सिंह, विधायक, खुर्जा
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