रिपोर्ट दर्ज न होने पर एसपी दफ्तर के सामने आत्महत्या की चेतावनी
रिटायर्ड पंचायत सेक्रेट्री छतर सिंह ने प्रेसवार्ता बुलाकर किया ऐलानरिटायर्ड पंचायत सेक्रेट्री छतर सिंह ने जिपं अध्यक्ष उपचुनाव के लिए नामांकन के दिन अपने साथ हुई मारपीट व लूटपाट की रिपोर्ट दर्ज न...
रिटायर्ड पंचायत सेक्रेट्री छतर सिंह ने जिपं अध्यक्ष उपचुनाव के लिए नामांकन के दिन अपने साथ हुई मारपीट व लूटपाट की रिपोर्ट दर्ज न होने पर आत्महत्या की चेतावनी दी है। शनिवार की सुबह अपने निवास पर बुलाई प्रेसवार्ता में सांसद बिजनौर के दबाव में पुलिस पर रिपोर्ट दर्ज न करने का आरोप लगाया और कहा, कि अगर एक सप्ताह के भीतर एफआईआर दर्ज नहीं की गयी तो वह एसपी दफ्तर के सामने आत्महत्या करेंगे।अपने आवास पर पत्रकारों से बातचीत करते हुए छतर सिंह ने कहा, कि वह 12 मार्च को जिपं अध्यक्ष पद के लिए उम्मीदवार मोनिका पत्नी वीर सिंह के नामांकन के लिए उनके साथ कचहरी गए थे। उनके साथ मोनिका के प्रस्तावक व अनुमोदक थे। नामांकन के पश्चात जव वह उम्मीदवार के साथ बाहर आए तो वहां पहले से मौजूद साकेन्द्र प्रताप, चमन सिंह, अनवर हुसैन, कमलवीर, विनोद राठी, नवनीत, विवेक, रिंकू व 10-15 अन्य लोगों ने गाड़ी का दरवाजा खोलकर उसे बाहर खींचा। लात-घूंसों से मारपीट की और जान से मारने की धमकी दी। इसी दौरान किसी ने गले से दो तोले सोने की चेन व 16,600 रुपये लूट लिए। साथ में मौजूद नितिन और सतेन्द्र निवासी आसपुर नवादा ने छुड़ाने का प्रयास किया तो इनके साथ भी मारपीट की। छतर सिंह के अनुसार वह थाने गए तो पुलिस ने सांसद बिजनौर भारतेन्द्र सिंह के दबाव में रिपोर्ट दर्ज करने से इंकार कर दिया। इससे अगले दिन जाने पर मेडिकल मुआयना तो करा दिया, लेकिन उसकी तहरीर पर रिपोर्ट दर्ज नहीं की। अब अगर एक सप्ताह के भीतर उसकी एफआईआर थाना कोतवाली शहर पुलिस ने दर्ज नहीं की तो वह पुलिस अधीक्षक कार्यालय के सामने इसके विरोध में आत्हत्या करेगा। उधर इस संबंध में प्रभारी निरीक्षक थाना कोतवाली शहर फतेह सिंह का कहना है, कि उन पर किसी का दबाव नहीं है। छतर सिंह की दी गयी तहरीर में कितनी सच्चाई है, इसकी एक उपनिरीक्षक द्वारा जांच की जा रही है, क्योंकि घटना के दिन वहां तमाम फोर्स भी मौजूद थी। खाली तहरीर लिखकर देना ही पर्याप्त नहीं है। कतिपय मामलों में सच्चाई की तह में जाना पड़ता है।