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कोरोना मरीज मिलने पर भी नहीं बंद हुआ स्वास्थ्य विभाग

कोरोना पॉजिटिव केस मिलने पर 48 घंटे तक कार्यालय बंद करने व उसके सैनेटाइजेशन का प्रावधान है। लेकिन शायद यह नियम स्वास्थ्य विभाग के कार्यालयों पर लागू नहीं होता है। सीएमओ कार्यालय में कोरोना पॉजिटिव...

कोरोना मरीज मिलने पर भी नहीं बंद हुआ स्वास्थ्य विभाग
हिन्दुस्तान टीम,बस्तीSat, 08 Aug 2020 07:04 PM
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कोरोना पॉजिटिव केस मिलने पर 48 घंटे तक कार्यालय बंद करने व उसके सैनेटाइजेशन का प्रावधान है। लेकिन शायद यह नियम स्वास्थ्य विभाग के कार्यालयों पर लागू नहीं होता है। सीएमओ कार्यालय में कोरोना पॉजिटिव मिलने के बाद भी लगातार कार्यालय का संचालन हो रहा है।

सीएमओ कार्यालय में अब तक सात कर्मचारी पॉजिटिव हो चुके हैं। पहला केस आने के बाद रात 12 बजे आईडीएसपी को सील किया गया था, लेकिन दूसरे दिन सुबह के समय नौ बजे खोल दिया गया। उसके बाद एक-एक कर छह और कर्मी पॉजिटिव हुए, लेकिन एक बार भी सील होने की कार्रवाई नहीं हुई। अलबत्ता जो कर्मचारी नहीं आया, उसके खिलाफ कार्रवाई प्रस्तावित कर दी गई।

कलेक्ट्रेट व विकास भवन में कोरोना पॉजिटिव केस आए तो क्षेत्र को कंटेनमेंट जोन घोषित किया गया। 48 घंटे के लिए कार्यालय को बंद कर सैनेटाइज भी किया गया। इतना ही नहीं विकास भवन में स्थापित एकीकृत कंट्रोल रूम को भी बंद किया गया था। सीएमओ कार्यालय का ही एक हिस्सा केंद्रीय औषधि भंडार में भी चतुर्थ श्रेणी कर्मी पॉजिटिव मिला तो वहां पर 48 घंटे के लिए काम बंद कर दिया गया था। आसपास के जनपद के सीएमओ कार्यालय में कोरोना का मरीज मिलने पर कार्यालय को बंद कर डिसइंफेक्ट करने की कार्रवाई की गई।

सीएमओ कार्यालय में तैनात कार्मिकों का कहना है कि बस्ती कार्यालय के लिए यह नियम लागू नहीं होता है। एक-एक कर पिछले एक माह के दौरान कुल सात कर्मी पॉजिटिव आ चुके हैं। इन कार्मियों का उठना-बैठना सीएमओ कार्यालय लगभग हर हिस्से में था, लेकिन कोविड प्रोटोकॉल के तहत उचित कार्रवाई नहीं हुई, जिससे स्वास्थ्य कर्मियों में असंतोष बना हुआ है।

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