10 लाख मार्कशीटों को ऑनलाइन करने जा रहा है रुहेलखंड विश्वविद्यालय
रुहेलखंड विवि ने डिग्री और मार्कशीटें ऑनलाइन करने में बड़ी उपलब्धि हासिल कर ली। इसके बाद अब 10 लाख मार्कशीटें जून तक ऑनलाइन करने की योजना है। इसके बाद 2015 से लेकर 2017 तक के सभी पासआउट छात्रों की...
रुहेलखंड विवि ने डिग्री और मार्कशीटें ऑनलाइन करने में बड़ी उपलब्धि हासिल कर ली। इसके बाद अब 10 लाख मार्कशीटें जून तक ऑनलाइन करने की योजना है। इसके बाद 2015 से लेकर 2017 तक के सभी पासआउट छात्रों की मार्कशीट और डिग्रियां ऑनलाइन हो जाएंगी। विवि प्रशासन ने इस दस लाख के लक्ष्य को पूरा करने के लिए पूरी कार्ययोजना तैयार कर ली है। हालांकि 2018 की मार्कशीटें अभी ऑनलाइन होने में एक साल का वक्त लगेगा।
रुहेलखंड विवि ने पूरे देश में नेशनल एकेडमिक डिपाजिटरी (नैड) पोर्टल पर मार्कशीट और डिग्री अपलोड करने में कुल 3.5 प्रतिशत शेयर हासिल किया और प्रदेश में भी नंबर वन बनी हुई है। विश्वविद्यालय ने 2015, 2016 और 2017 को मिलाकर 7.5 लाख मार्कशीटें नैड पोर्टल पर अपलोड करते हुए ऑनलाइन कर दी थी। अब विवि प्रशासन जून तक 2017 की बची ढ़ाई लाख मार्कशीटें ऑनलाइन करने की योजना पर काम कर रहा है। विवि प्रशासन का कहना है कि जून तक यह आंकड़ा 10 लाख के पार चला जाएगा और साल आखिर तक 2018 की भी मार्कशीटें ऑनलाइन कर दी जाएगी। ऐसे में दिसंबर तक 15 लाख छात्रों की मार्कशीटें नैड पोर्टल पर अपलोड कर दी जाएगी। यह काफी बड़ी संख्या है और छात्रों को अब मार्कशीट खोने की समस्या से भी दो चार नहीं होना पड़ेगा और विवि के चक्कर नहीं काटने होंगे। छात्र ऑनलाइन ही मार्कशीट निकाल सकेंगे। जनहित गारंटी अधिनियम के नोडल ऑफिसर नवीन गुप्ता विवि जून तक 10 लाख मार्कशीटों का आंकड़ा पार कर लेगा और दिसंबर तक 15 लाख मार्कशीटें और डिग्रिया अपलोड कर दी जाएगी। रुहेलखंड विवि का शेयर पूरे देश में 3.5 प्रतिशत है। 10 लाख का आंकड़ा पार होने के बाद यह प्रतिशत और बढ़ेगा। रुहेलखंड विवि के छात्र नैड की वेबसाइट पर अपने आधार नंबर के साथ पंजीकरण कराकर ऑनलाइन ही मार्कशीट और डिग्री निकाल सकेंगे।