ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News उत्तर प्रदेश बागपतआटा गूंथने और मसाला पीसनेवाली बेटियां बन सकती हैं खिलाड़ी : दादी चंद्रो

आटा गूंथने और मसाला पीसनेवाली बेटियां बन सकती हैं खिलाड़ी : दादी चंद्रो

जिस उम्र में लोग रिटायर करके पोते-पोतियों के साथ खेलते हैं, उस उम्र में यूपी बागपत की रहनेवाली चंद्रो तोमर ने शूटिंग (निशानेबाजी) की शुरुआत करते हुए नेशनल मेडल जीत लिया। शूटर दादी के रूप में मशहूर...

आटा गूंथने और मसाला पीसनेवाली बेटियां बन सकती हैं खिलाड़ी : दादी चंद्रो
हिन्दुस्तान टीम,बागपतWed, 22 Jan 2020 01:13 PM
ऐप पर पढ़ें

जिस उम्र में लोग रिटायर करके पोते-पोतियों के साथ खेलते हैं, उस उम्र में यूपी बागपत की रहनेवाली चंद्रो तोमर ने शूटिंग (निशानेबाजी) की शुरुआत करते हुए नेशनल मेडल जीत लिया। शूटर दादी के रूप में मशहूर चंद्रा तोमर ने कहा कि बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ के बाद बेटी खेलाओ का भी नारा देश में बुलंद होना चाहिए। कहा कि आटा गूंथने और सिलवट पर मसाला पीसनेवाली बेटियों की ही कलाइयां मजबूत होती हैं, वही अच्छी खिलाड़ी बन सकती हैं।

मंगलवार कां सेत जेवियर स्कूल में आयोजित वार्षिक खेल समारोह में बतौर मुख्य अतिथि भाग लेने पहुंची चंद्रो तोमर ने खिलाड़ियों का हौंसला बढ़ाया। उन्होंने कहा कि तन बुड्ढा होता है, मन नहीं। सीखने की और कुछ करने की कोई उम्र नहीं होती। उनका सपना है कि देश की बेटी ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीते। उन्होंने बच्चों से कहा, पहले पढ़ाई करो फिर खेलो। 1999 में अपनी पोती शेफाली को शूटिंग कैंप में ट्रेनिंग दिलाने ले गई थी, वहां से ही ही शूटिंग सीखने की इच्छा जागी।

फिल्म स्टार तापसी-भूमि को तीन माह दी ट्रेनिंग

शूटर चंद्रो तोमर और उनकी देवरानी प्रकाशी तोमर पर अनुराग कश्यप ने फिल्म सांड़ की आंख बनाई है। इस फिल्म में लीड एक्ट्रेस की भूमिका निभानेवाले तापसी पन्नू और भूमि पेडनेकर को तीन माह तक अपने घर में रखकर ट्रेनिंग दी। शूटर दादी ने स्वीकार किया कि उनपर बनी फिल्म ने उन्हें देशभर में चर्चित कर दिया।

शौच करने के बहाने सुबह चार बजे निकलती थी प्रैक्टिस करने

चंद्रो तोमर ने बताया कि वह हर रोज सुबह चार बजे एक जग पानी लेकर घर से शौच के बहाने निकल जाती थीं। सुबह वह अभ्यास करतीं थी। उन्हें डर लगता था कि कहीं कोई देख न ले, एक दिन अखबार में तस्वीर छपने के बाद उनके बारे में सभी को पता चल गया। 65 साल की उम्र में शूटिंग सीखने पर कई लोग ताने मारते थे कि यह बढ़िया अब कारगिल में युद्ध करेगी, लेकिन मैंने अपने कान को बंद करके अपना काम जारी रखा और नतीजा सबके सामने है।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें