Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़Atrocities on minorities and vandalism of temples in Bangladesh are against Islamic education Maulana Shahabuddin

बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों पर जुल्म व मंदिरों को तोड़फोड़ इस्लामी शिक्षा के खिलाफ:मौलाना शहाबुद्दीन

मौलाना शहाबुद्दीन ने कहा कि बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों पर जुल्म व मंदिरों को तोड़फोड़ इस्लामी शिक्षा के खिलाफ है।

बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों पर जुल्म व मंदिरों को तोड़फोड़ इस्लामी शिक्षा के खिलाफ:मौलाना शहाबुद्दीन
Deep Pandey लाइव हिन्दुस्तानThu, 8 Aug 2024 07:45 AM
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ऑल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना मुफ्ती शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने कहा कि बांग्लादेश में शेख हसीना की हुकूमत का तख्तापलट किया जाना राजनीतिक इच्छाओं का प्रार्दशन है। कट्टरपंथी विचारधारा वालों को सत्ता हासिल करने का माध्यम है। जो निहायती अफसोसनाक बात है। बांग्लादेश में छात्र और जनता ने मिलकर तख्तापलट का कार्य अंजाम दिया, इस तरह की राजनीतिक घटनाएं विदेशों में होती रही है। मगर सबसे महत्वपूर्ण बात ये है कि बांग्लादेश में हिन्दू अल्पसंख्यकों के घरों में आग लगा दी गई और कई लोगों को मारा गया। साथ ही मंदिरों में भी तोड़फोड़ की गई। अब अल्पसंख्यको के हालात ये हैं कि वो अपने आप को सुरक्षित महसूस नहीं कर रहे हैं। भारत की सरहद पर हजारों की तादाद में अल्पसंख्यक जमा हो चुके हैं, वो भारत के अंदर दाखिल होना चाहते हैं।

मौलाना अल्पसंख्यको की स्थिति देखते हुए बांग्लादेश के आंदोलनकारियो पर जम कर बरसे और उनको नसीहत दी कि इस्लाम और पैगम्बरे इस्लाम की शिक्षा ये नहीं है कि इस्लाम के मानने वाले गैर मुस्लिमों पर जुल्म जियादती करें और मंदिरों को निशाना बनाएं। इस्लाम सभी को सम्मान देने की बात करता है, इस्लाम मानवतावादी धर्म है। इस्लाम किसी दूसरे धर्म को मानने वाले के इबादत गाहो को तोड़फोड़ करने और आग लगाने की इजाजत नहीं देता है, बल्कि ऐसी परिस्थितियों में उनको सुरक्षा प्रदान करने की बात करता है। ये आंदोलनकारी कैसे है ? और किस तरह इन्होंने इस्लाम पढ़ा है जो इस्लाम के वसूलों के खिलाफ काम कर रहे हैं। 

मौलाना ने कहा कि बांग्लादेश में हो रहे हिंदुओं पर हमले की वजह से भारत के मुसलमानो को शर्मिंदगी उठानी पड़ रही है। मौलाना ने मीडिया के माध्यम से बांग्लादेश के आंदोलनकारियों को नसीहत देते हुए कहा कि सत्ता हासिल करने का जो भी मकसद हो उस सिलसिले में जो चाहें करें। मगर बराए मेहरबानी अल्पसंख्यकों के मकानों में आगजनी और मंदिरों में तोड़फोड़ न करें। बांग्लादेश में प्रधानमंत्री की कुर्सी संभालने वाले मोहम्मद युनूस और आंदोलन के कन्वीनर नवेद इस्लाम के ऊपर सबसे बड़ी जिम्मेदारी बनती है कि वो अल्पसंख्यको की सुरक्षा के पुख्ता इंतेजामत करें।

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