ट्रेंडिंग न्यूज़

Hindi News उत्तर प्रदेशमासूमों की मौत के मामले में बीआरडी के प्रिंसिपल की जमानत खारिज

मासूमों की मौत के मामले में बीआरडी के प्रिंसिपल की जमानत खारिज

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बाबा राघवदास मेडिकल कॉलेज गोरखपुर में बच्चों की मौत के मामले में वहां के प्राचार्य डॉ. राजीव मिश्र की जमानत अर्जी खारिज कर दी...

मासूमों की मौत के मामले में बीआरडी के प्रिंसिपल की जमानत खारिज
हिन्दुस्तान टीम,इलाहाबादTue, 01 May 2018 10:16 AM
ऐप पर पढ़ें

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बाबा राघवदास मेडिकल कॉलेज गोरखपुर में बच्चों की मौत के मामले में वहां के प्राचार्य डॉ. राजीव मिश्र की जमानत अर्जी खारिज कर दी है। यह आदेश न्यायमूर्ति रमेश सिन्हा एवं न्यायमूर्ति डीके सिंह की खंडपीठ ने डॉ. मिश्र के अधिवक्ता व अपर शासकीय अधिवक्ता विमलेंदु त्रिपाठी को सुनकर दिया।

गौरतलब है कि गोरखपुर स्थित बीआरडी मेडिकल कॉलेज में ऑक्सीजन सप्लाई न होने से एक ही दिन में इन्सेफलाइटिस पीड़ित डेढ़ दर्जन बच्चों की मौत हो गई थी। विवेचना में अस्पताल प्रशासन की लापरवाही सामने आने पर मेडिकल कॉलेज प्राचार्य सहित कई अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ।

डॉ. राजीव मिश्र की जमानत के समर्थन में कहा गया कि वह सात माह से जेल में निरुद्ध हैं। मामले में सह अभियुक्त डॉ. कफील अहमद की जमानत मंजूर हो चुकी है। बीआरडी मेडिकल कॉलेज में बच्चों की मौत के मामले में प्राचार्य डॉ. राजीव मिश्र व उनकी पत्नी भी आरोपी हैं। उन पर आरोप है कि वह हर बिल में कमीशन लेते हैं बगैर कमीशन के कोई बिल पास नहीं करते और यह काम अपनी पत्नी माध्यम से करते हैं।

हौम्योपैथिक डॉक्टर पत्नी का पति के प्रशासनिक कार्यों में हस्तक्षेप होने का भी आरोप है। उन्होंने ऑक्सीजन सप्लाई करने वाली कंपनी का कभी भी समय से बिल पास नहीं किया। कमीशन के फेर में उसका बिल पास नहीं किया, जिससे कंपनी ने ऑक्सीजन की सप्लाई रोक दी और यह इन्सेफलाइटिस पीड़ित बच्चों की मौत का बड़ा कारण बना।

यही नहीं, मामले में आरोपी डॉ. कफील को सबसे जूनियर होने उन्होंने 20 हजार रुपये से अधिक के वित्तीय अधिकार दे दिए। यह भी आरोप है कि घटना वाले दिन डॉ. मिश्र छुट्टी पर चले गए थे। दोनों पक्षों को सुनने के बाद खंडपीठ ने जमानत अर्जी खारिज कर दी।

हिन्दुस्तान का वॉट्सऐप चैनल फॉलो करें