
प्रशासन ने नोटिस के बाद भी दुकानें खाली नहीं कराईं
संक्षेप: Aligarh News - अतरौली नगर पालिका परिषद की 33 दुकानों को खाली कराने के लिए हाई कोर्ट का आदेश है, लेकिन पालिका और तहसील प्रशासन के बीच यह मामला अटका हुआ है। शिकायतकर्ता अंशुल भारद्वाज ने कहा कि अधिकारियों की लापरवाही...
अतरौली, संवाददाता। नगर पालिका परिषद की 33 दुकानों को खाली कराने के लिए हाई कोर्ट का आदेश पालिका प्रशासन व तहसील प्रशासन के दो पाटों के बीच पिस गया है। ईओ द्वारा दुकानों को खाली कराने के लिए दिए गए नोटिस की भी अवधि समाप्त हो गयी है। शिकायतकर्ता अंशुल भारद्वाज इस संबंध मे कमिश्नर से मिले। कमिश्नर ने शिकायतकर्ता को आश्वासन दिया कि दुकानों को खाली कराने के लिए हर संभव प्रयास किया जा रहा है। एसडीएम अतरौली से पूछा कि दुकानों को खाली करने में कौन सी बाधा आड़े आ रही है। शिकायतकर्ता का कहना है कि दुकानों को खाली कराने के नाम पर पालिका के अधिकारी दुकानदारों को नोटिस जारी करके तहसील प्रशासन को भेज देते है।

वहीं तहसील प्रशासन पालिका प्रशासन के अधिकारियों से दुकानदारों के खिलाफ कार्रवाई करने के आदेश करते नजर आते है। ईओ द्वारा दुकानदारों को दस दिन के अंदर दुकानों को खाली करने के लिए नोटिस जारी किए थे। सभी दुकानदारों को नोटिस मिल भी गये। नोटिसों को भी दुकानदारों ने पिछले नोटिसों की तरह ताक में रख दिया। दुकानदार दुकानों को बिना किसी चिंता के रोजाना समय से खोलते है और शाम को बंद करते हैं। शिकायतकर्ता : नगर के मौहल्ला बड़ा बाजार निवासी अंशुल भारद्वाज ने कहा है कि नगर पालिका परिषद की दुकानों को खाली कराने के लिए पालिका के अधिकारी करीब एक वर्ष से कोर्ट के आदेश को लटकाये हुए हैं। इसमें तहसील प्रशासन के अधिकारी दुकानों को खाली कराने की बजाये उनको लटकाने में सहयोग कर रहे हैं। जब पालिका ईओ ने सभी दुकानदारों को दस दिन के अंदर दुकानें खाली करने के लिए नोटिस जारी कर दिए तो उनका पालन होना चाहिए था। नोटिसों का पालन न होने पर एक बार फिर से उन्होंने ईओ को पत्र जारी करते हुए कहा कि दुकानों को खाली कराने के आदेशों का पालन कराया जाये। -मोहम्मद अमान, एसडीएम अतरौली

लेखक के बारे में
Hindustanलेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।




