आलू की फसल पर तीन और गेहूं-सरसों पर मिलेगी दो बोरी डीएपी
Agra News - किसानों को आलू, गेहूं और सरसों की फसल के लिए प्रति एकड़ तीन और दो बोरी डीएपी मिलेगी। जिलाधिकारी ने बताया कि जिले में यूरिया, डीएपी, एमओपी, एनपीके और एसएसपी की कोई कमी नहीं है। किसानों को उर्वरकों की...

किसानों को आलू की फसल प्रति एकड़ तीन और गेहूं व सरसों की फसल के लिए दो बोरी डीएपी मिलेगी। रबी का फसलों की बुवाई के लिए यूरिया और फास्फेटिक उर्वरकों की कोई कमी नहीं है। जिलाधिकारी अरविंद मल्लप्पा बंगारी ने बताया जिले में बिक्री के लिए यूरिया 14833 मैट्रिक टन तथा 9872 मैट्रिक टन डीएपी व 6399 मैट्रिक टन एमओपी, साथ ही 14800 मैट्रिक टन एनपीके एवं 3145 मैट्रिक टन एसएसपी उपलब्ध है। जिलाधिकारी ने कहा आलू और गेहूं की फसल के लिए डीएपी को अभी से क्रय करने की आवश्यकता नही है। जनपद में लगातार फास्फेटिक उर्वरक की आपूर्ति करायी जा रही है।
जिले में आलू फसल की बुवाई अक्टूबर से प्रारम्भ होगी। किसान फास्फेटिक उर्वरक के रूप में एसएसपी एवं एनपीके का प्रयोग कर सकते है, क्योंकि एनपीके उर्वरक में पौधों के लिए मुख्य पोषक तत्व नाइट्रोजन, फास्फोरस एवं पोटास पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है। इसके प्रयोग से बीज अंकुरण, पौधों की तेजी से वृद्धि, पौधों में प्रकाश संश्लेषण, स्वस्थ फूल एवं विशेषकर आलू एवं गेहूं की फसल के उत्पादन व उत्पादकता में वृद्धि होती है। एनपीके उर्वरक के प्रयोग से पौधों को मुख्य पोषक तत्वों की उपलब्धता अन्य उर्वरकों की अपेक्षा शीघ्र हो जाती है। एसएसपी अच्छी और सस्ती खाद है, जिसका प्रयोग किया जाना उपयुक्त होता है। एसएसपी उर्वरक में कैल्शिम की मात्रा 21 फीसदी, फास्फोरस की मात्रा 16 फीसदी एवं सल्फर की मात्रा 12फीसदी होती है, जो पौधों के लिए एक मूल्यवान पोषक तत्वों का स्त्रोत है। डीएम ने कहा कि खाद के वितरण के लिए साधन सहकारी समितियों के साथ निजी दुकानों पर कृषि सहकारिता एवं राजस्व विभाग के अधिकारियों की टीमों का गठन किया गया। इन टीमों द्वारा औचक निरीक्षण कर मनमाने ढंग से उर्वरकों का वितरण करने वाले दुकानदारों के विरुद्ध कार्यवाही की जाएगी। उर्वरकों से सम्बन्धित किसी भी प्रकार की शिकायत के लिए कन्ट्रोल रूम नम्बर-8881508310 एवं 7302640291 पर किसान शिकायत दर्ज करा सकते हैं।
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