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एटा में रेलवे स्टेशन के शौचालय में हुआ प्रसव, बच्चे की मौत

एंबुलेंस की लेट-लतीफी से एक बार फिर महिला पहले मातृत्व सुख से वंचित रह गई। एक घंटे विलंब से एंबुलेंस आने से चिकित्सा के अभाव में बच्चे ने रेलवे स्टेशन के टॉयलेट में मंगलवार को दम तोड़ दिया। उससे...

एटा में रेलवे स्टेशन के शौचालय में हुआ प्रसव, बच्चे की मौत
हिन्दुस्तान संवाद,एटाWed, 23 May 2018 07:04 PM
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एंबुलेंस की लेट-लतीफी से एक बार फिर महिला पहले मातृत्व सुख से वंचित रह गई। एक घंटे विलंब से एंबुलेंस आने से चिकित्सा के अभाव में बच्चे ने रेलवे स्टेशन के टॉयलेट में मंगलवार को दम तोड़ दिया। उससे स्टेशन पर मौजूद यात्रियों में आक्रोश पनप गया। बाद में एंबुलेंस के पहुंचने पर प्रसूता महिला को महिला चिकित्सालय लाया गया। जहां से उसके परिजन गांव ले गए।
तहसील जलेसर क्षेत्र के गांव समी पाखंडी निवासी कप्तान सिंह ने अपनी पुत्रवधू गीता को सोमवार रात्रि 11 बजे जलेसर सीएसची में प्रसव पीड़ा होने पर भर्ती कराया था। जहां पर चिकित्सकों ने गर्भवती गीता की हालत गंभीर देखते हुए उसे रात्रि में ही एटा महिला जिला चिकित्सालय में रेफर कर दिया। मंगलवार को सुबह महिला जिला चिकित्सालय में परीक्षण के उपरांत महिला चिकित्सक ने गीता के ससुर कप्तान सिंह को बच्चा उल्टा होने की जानकारी दी। साथ ही पुन: अल्ट्रासाउंड कराए जाने की बात कही। जिला महिला चिकित्सालय में चिकित्सकों ने उसे भर्ती न करते हुए बाहर का रास्ता दिखा दिया। गरीब और लाचार ससुर कप्तान सिंह उसे वापस जलेसर ले जाने के लिए एटा रेलवे स्टेशन पहुंचा। तब तब गीता की हालत काफी खराब हो चुकी थी और वह प्रसव पीड़ा से तड़पती रही। कुछ ही देर में उसकी बिगड़ती गई, हालत देखकर स्टेशन पर मौजूद महिला यात्रियों ने उसे स्टेशन के शौचालय में ले गई। जह़ां करीब 15 मिनट बाद  प्रसूता ने नवजात शिशु को जन्म दिया। जन्म के समय नवजात शिशु की श्वांस चल रही थी। इसी दौरान वहां मौजूद लोगों ने एंबुलेंस को बुलाने के लिए कई बार फोन किया। हेल्पलाइन पर फोन नहीं उठा और काफी देर उठा फोन उठा। एंबुलेंस करीब एक घंटे बाद रेल स्टेशन पहुंची। तब तक नवजात शिशु ने पर्याप्त चिकित्सीय सुविधा न मिलने के कारण दम तोड़ दिया। दूसरी ओर शरीर से अधिक खून बहने से गीता की हालत काफी गंभीर हो गई। उसे बाद में पहुंची एंबुलेंस ने महिला जिला चिकित्सालय में भर्ती कराया।  घर जाते-जाते भी गीता देवी के मन में एक ही मलाल था कि यदि एंबुलेंस समय से पहुंच जाती तो उसका लाल बच जाता और उसकी गोद सूनी नहीं रहती।

अल्ट्रासाउंड में भी स्पष्ट नहीं हुई बच्चे की स्थिति
एटा। सीएमओ डा. अजय अग्रवाल ने बताया कि सोमवार रात्रि में ही सीएचसी जलेसर से रेफर होकर एटा महिला जिला चिकित्सालय में पहुंची गीता देवी को मंगलवार सुबह महिला चिकित्सक ने देखा। उसका अल्ट्रासाउंड कराया गया। अल्ट्रासाउंड होने के बाद गीता के पेट में बच्चा उल्टा होने की जानकारी ससुर कप्तान सिंह को दी गई। उसने कहा गया कि बच्चे की स्थिति जानने के लिए पुन: अल्टासाउंड कराना होगा। उसके बाद कप्तान सिह पुत्रवधू को कहीं ओर दिखाने की कहकर अस्पताल से घर ले गए।

मंगलवार को महिला जिला चिकित्सालय से आई महिला ने रेलवे स्टेशन पर बच्चे को जन्म दिया। उसकी कुछ देर बाद ही मौत हो गई थी। स्टेशन पर आकस्मिक चिकित्सा की कोई व्यवस्था नहीं है।
-सीपी शर्मा, स्टेशन अधीक्षक, एटा। 

जलेसर क्षेत्र के गांव समी पाखंडी की रहने वाली गीता देवी ने रेलवे स्टेशन पर बच्चे को जन्म दिया। जहां प्रसव के उपरांत समुचित ऑक्सीजन न मिलने से बच्चे की मौत हो गई। बाद में महिला को गंभीर हालत में एंबुलेंस से महिला चिकित्सालय लाया गया। परिजन बिना डाक्टरों को बताए महिला को ले गए। 
-डा. अजय अग्रवाल, सीएमओ, एटा।

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