
यूपी: एक हफ्ते की जिंदा बच्ची को जमीन में दफनाया, कराहें सुन लोगों ने बचाया; हालत गंभीर
संक्षेप: रविवार की सुबह बबलू टहलते हुए भुड़िया जाने वाले रास्ते पर निकला ही था कि कानों में मासूम की रोने की आवाज़ सुनाई पड़ी। संदेह हुआ तो वे आवाज की दिशा में बढ़े और जो दृश्य सामने था, वह दिल को छलनी करने वाला था। मिट्टी से एक नन्हा हाथ बाहर झांक रहा था। हाथ में गहरे जख्म थे।
उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर में इंसानियत को शर्मसार करने वाली एक घटना सामने आई है। यहां जैतीपुर क्षेत्र में रविवार की सुबह नदी के किनारे मिट्टी के नीचे दबाई गई एक सप्ताह की बच्ची की हल्की-सी कराह सुनकर लोग दौड़ पड़े। बच्ची की कराहने की आवाजों ने उसकी जिंदगी तो बचा ली लेकिन समाज के सामने इंसानियत का काला चेहरा भी उजागर कर दिया।

जैतीपुर के गौहावर गांव का बबलू रविवार सुबह टहलते हुए भुड़िया जाने वाले रास्ते पर निकला ही था कि कानों में मासूम की रोने की आवाज़ सुनाई पड़ी। संदेह हुआ तो वे आवाज की दिशा में बढ़े और जो दृश्य सामने था, वह दिल को छलनी करने वाला था। मिट्टी से एक नन्हा हाथ बाहर झांक रहा था। उस हाथ में गहरे जख्म थे और हाथ का पंजा जंगली जानवरों ने नोच लिया था। बबलू ने तुरंत ग्रामीणों को बुलाया और पुलिस को सूचना दी। मौके पर पहुंचे एसआई इतेश तोमर ने मासूम को मिट्टी से बाहर निकाला। बच्ची की सांसें चल रही थीं लेकिन वह बेहद कमजोर दिख रही थी।
दफनाने से पहले नए कपड़े पहनाए, माथे पर लगाया तिलक
पुलिसकर्मी उसे गाड़ी से सीएचसी तिलहर ले गए। डॉक्टरों ने बताया कि बच्ची करीब एक सप्ताह की है, नाल कटा हुआ है और उसे नए कपड़े पहनाए गए थे। माथे पर टीका लगा था, मानो किसी ने उसे सजाया हो और फिर उसी ने मिट्टी में दबा दिया। ऐसा किसने किया होगा? यह सवाल लोगों के दिमाग में कौंध रहा है और इसे लेकर क्षेत्र में तरह-तरह की चर्चाएं हो रही हैं। जैतीपुर थाने के एसओ गौरव त्यागी ने बताया कि चाइल्ड केयर को सूचना दी गई है। मामले की जांच की जा रही है।
क्या बोली पुलिस
शाहजहांपुर के एसपी सिटी देवेंद्र कुमार ने बताया कि बच्ची को मिट्टी में दबाने की सूचना मिली थी। सीएचसी से गंभीर हालत में बच्ची को मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया है। बच्ची के बारे में पता लगाया जा रहा है।





